World Environment Day: PM Modi ने की किसानों के साथ बातचीत, कहा- भारत की 21वीं सदी की प्राथमिकताओं से जुड़ा है इथेनॉल
World Environmental Day 2021: दुनिया भर में आज विश्व पर्यावरण दिवस (World Environmental Day) मनाया जा रहा है. लोगों को पर्यावरण के प्रति जागरुकता और पर्यावरण की सुरक्षा करने के लिए हर साल विश्व पर्यावरण दिवस मनाया जाता है.
World Environmental Day 2021: दुनिया भर में आज विश्व पर्यावरण दिवस (World Environmental Day) मनाया जा रहा है. लोगों को पर्यावरण के प्रति जागरुकता और पर्यावरण की सुरक्षा करने के लिए हर साल विश्व पर्यावरण दिवस मनाया जाता है. इस दिन को मनाने की घोषणा संयुक्त राष्ट्र (United Nations) ने पर्यावरण के प्रति वैश्विक स्तर (Globally) पर राजनीतिक और सामाजिक जागृति लाने के लिए वर्ष 1972 में की थी. इसे 5 जून से 16 जून तक संयुक्त राष्ट्र महासभा (United Nations General Assembly) ने आयोजित विश्व पर्यावरण सम्मेलन (world environment conference) में चर्चा के बाद शुरू किया गया था.
पीएम मोदी का संबोधन
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) ने शनिवार 5 जून को विश्व पर्यावरण दिवस (World Environment Day) कार्यक्रम को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए संबोधित किया. उन्होंने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए पेट्रोलियम और नेचुरल गैस मंत्रालय और पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय की ओर से संयुक्त रूप से आयोजित पर्यावरण दिवस (World Environment Day) कार्यक्रम को संबोधित किया.
Addressing a programme on #WorldEnvironmentDay. #IndiasGreenFuture https://t.co/4S0pEuKcVx
— Narendra Modi (@narendramodi) June 5, 2021
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PM मोदी ने इथेनॉल (Ethanol) और बायोगैस (Biogas) के इस्तेमाल पर महाराष्ट्र, गुजरात और उत्तर प्रदेश के किसानों के साथ भी बातचीत की. उन्होंने किसानों से मिट्टी की फर्टिलिटी बनाए रखने के लिए ऑर्गेनिक फार्मिंग (Organic Farming) करने का आह्वान किया. पीएम ने यह भी कहा कि किसानों को धरती माता को बचाने के लिए विविध खेती पर ध्यान देना चाहिए.
उन्होंने कहा, 'इथेनॉल (Ethanol) मिलाने से गन्ना किसानों को फायदा हुआ है.' पीएम मोदी ने किसानों से कृषि उद्देश्यों के लिए सोलर ऊर्जा (Solar Energy) का इस्तेमाल करने का भी आग्रह किया, उन्होंने कहा कि स्वच्छ ऊर्जा के लिए व्यापक अभियान से भारत का कृषि क्षेत्र लाभान्वित हो रहा है. पीएम ने "भारत में 2020-2025 में इथेनॉल मिश्रण के लिए रोड मैप पर विशेषज्ञ समिति की रिपोर्ट" भी जारी की.
अब इथेनॉल 21वीं सदी के भारत की प्रमुख प्राथमिकताओं में से एक बन गया है. एथेनॉल पर फोकस का पर्यावरण के साथ-साथ किसानों के जीवन पर भी बेहतर प्रभाव पड़ रहा है. पीएम ने कहा, आज हमने 2025 तक पेट्रोल में 20 फीसदी एथेनॉल मिश्रण के लक्ष्य को पूरा करने का संकल्प लिया है. पेट्रोल में इथेनॉल मिश्रण 2014 में 1-1.5 प्रतिशत से बढ़कर 8.5 प्रतिशत हो गया; मोदी ने कहा कि इथेनॉल की खरीद 38 करोड़ लीटर से बढ़कर 320 करोड़ लीटर हो गई है.
अक्षय ऊर्जा के लिए हमारी क्षमता 6-7 वर्षों में 250 प्रतिशत से ज्यादा बढ़ी है. भारत आज स्थापित अक्षय ऊर्जा क्षमता के मामले में दुनिया के शीर्ष -5 देशों में है. इसमें भी पिछले 6 सालों में सौर ऊर्जा की क्षमता में लगभग 15 गुना वृद्धि हुई है, पीएम ने कहा. आज भारत दुनिया के सामने एक मिसाल कायम कर रहा है कि जब पर्यावरण की रक्षा करने की बात आती है तो ऐसा करते समय विकास कार्यों को रोकना जरूरी नहीं है. उन्होंने आगे कहा, "अर्थव्यवस्था और पारिस्थितिकी साथ-साथ चल सकते हैं और भारत ने इसे साबित कर दिया है."
जलवायु की रक्षा के लिए पर्यावरण की रक्षा के लिए अपने प्रयासों को संगठित करना बहुत जरूरी है। जब देश का प्रत्येक नागरिक जल, वायु और भूमि का संतुलन बनाए रखने के लिए संयुक्त प्रयास करेगा, तभी हम अपनी आने वाली पीढ़ियों को एक सुरक्षित वातावरण दे पाएंगे, पीएम ने निष्कर्ष निकाला.
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'थीम प्रमोशन ऑफ बॉयोफ्यूल' (Theme Promotion of Biofuel)
इस साल की बात करें तो इसकी थीम बेहतर पर्यावरण के लिए बॉयोफ्यूल का प्रसार (Promotion of biofuels for better environment.) रखी गई है. वातावरण की सुरक्षा के लिए विश्वभर में लोगों को कुछ सकारात्मक गतिविधियाँ के लिए प्रोत्साहित और जागरुक करने के लिए यह दिन संयुक्त राष्ट्र के लिए सबसे महत्वपूर्ण दिन है. अब, यह 100 से भी अधिक देशों में लोगों तक पहुँचने के लिए बड़ा वैश्विक मंच बन गया है.
विश्व पर्यावरण दिवस के मौके पर लोग एक दूसरे को संदेश भेजते हैं. इसके अलावा लोगों को जागरूक करने के लिए अलग-अलग जगहों पर कार्यक्रम भी आयोजित किए जाते हैं. वहीं बढ़ती मॉडर्न दुनिया और जिंदगी की भाग-दौड़ के बीच धरती पर हर दिन प्रदूषण बेहद तेजी से बढ़ रहा है. पर्यावरण में अचानक प्रदूषण का स्तर बढ़ने से तापमान में भी तेजी देखी जा रही है. हालांकि जिस तरह से प्रदूषण बढ़ता जा रहा है, उसके कारण कई तरह की गंभीर बीमारियां भी तेजी से बढ़ रही है, इसके अलावा समय के साथ साथ कई पशु-पक्षी भी विलुप्त होते जा रहें हैं.
कोरोना महामारी के कारण हर जगह परेशानी हो रही हैं. इसके मुख्य कारण में जाएं तो आप पाएंगे कि प्रकृति के साथ छेड़छाड़ करने का ही ये नतीजा है. आज पेड़ और सांस कम हो रही है. चारों तरफ ऑक्सीजन (Oxygen) की मांग इतनी बढ़ गई है कि सिलेंडर के लिए लोग लाइनों में लगे हैं.
वहीं विश्व पर्यावरण दिवस मनाए जाने से पहले हर साल के लिए एक थीम का चयन किया जाता है. विश्व पर्यावरण दिवस 2021 की थीम इकोसिस्टम रेस्टोरेशन (Ecosystem Restoration) हैं, इसके तहत पेड़ उगाना, शहर को हरा-भरा करना, बगीचों को फिर से बनाना, आहार बदलना या नदियों और तटों की सफाई करना आदि शामिल है.
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01:55 PM IST