EPF Interest Calculation: आपके खाते में जमा पूरे पैसे पर नहीं मिलता ब्याज, ऐसे होती है कैलकुलेशन
EPF interest calculation: प्रोविडेंट फंड अकाउंट (Provident Fund Account) अच्छा सेविंग्स ऑप्शन है. EPFO करोड़ों अकाउंट होल्डर्स के खातों को मैनेज करता है.
EPF interest calculation: प्रोविडेंट फंड अकाउंट (Provident Fund Account) में एम्प्लॉई और एम्प्लॉयर दोनों का बेसिक और डियरनेस अलाउंस (Dearness allowance) मिलाकर 24% हिस्सा डिपॉजिट होता है. हर साल इस EPF अकाउंट में जमा राशि पर सरकार ब्याज (Interest on EPF) देती है. इस बार भी ब्याज क्रेडिट होना शुरू हो गया है. क्या आपको पता है कि PF अकाउंट में ब्याज का कैलकुलेशन (EPF Interest calculation) कैसे किया जाता है?
आमतौर पर खाताधारक यह मानते हैं कि प्रोविडेंट फंड (Provident Fund) में जमा होने वाले पूरे पैसे पर ब्याज मिलता है. लेकिन, ऐसा नहीं होता. PF अकाउंट में जो राशि पेंशन फंड में जाती है, उस पर कोई ब्याज कैलकुलेट (Interest Calculation) नहीं होता है.
ऐसे होती है EPF पर ब्याज की कैलकुलेशन
EPF अकाउंट में हर महीने जमा पैसे यानि मंथली रनिंग बैलेंस के आधार पर ब्याज की गणना (EPF Interest calculation) की जाती है. लेकिन, इसे साल के आखिर में जमा किया जाता है. EPFO के नियमों के मुताबिक, चालू वित्त वर्ष की आखिरी तारीख को बैलेंस राशि में से सालभर में अगर कोई राशि निकाली गई है तो उसे घटाकर 12 महीने का ब्याज निकाला जाता है. EPFO हमेशा खाते का ओपनिंग और क्लोजिंग बैलेंस लेता है. इसका आकलन करने के लिए मासिक रनिंग बैलेंस को जोड़ा जाता है और ब्याज के रेट/1200 से गुणा कर दिया जाता है.
लगातार विड्रॉल से भी होता है नुकसान
TRENDING NOW
FD पर Tax नहीं लगने देते हैं ये 2 फॉर्म! निवेश किया है तो समझ लें इनको कब और कैसे करते हैं इस्तेमाल
8th Pay Commission: केंद्रीय कर्मचारियों के लिए ताजा अपडेट, खुद सरकार की तरफ से आया ये पैगाम! जानिए क्या मिला इशारा
अगर चालू वित्त वर्ष के दौरान कोई राशि निकाली जाती है तो ब्याज की रकम (PF Interest calculation) साल की शुरुआत से लेकर निकासी के तुरंत पहले वाले महीने की ली जाती है. साल का क्लोजिंग बैलेंस (PF Balance) उसका ओपनिंग बैलेंस होगा+कंट्रीब्यूशन-निकासी (यदि कोई है)+ब्याज.
ऐसे समझिए
- बेसिक सैलरी+ डियरनेस अलाउंस (DA) = ₹30,000
- कर्मचारी कंट्रीब्यूशन EPF = 12% of ₹30,000 = ₹3,600
- एम्प्लॉयर कंट्रीब्यूशन EPS (subject to limit of 1,250) = ₹1,250
- एम्प्लॉयर कंट्रीब्यूशन EPF = (₹3,600-₹1,250) = ₹2,350
- कुल मासिक EPF कंट्रीब्यूशन = ₹3,600 + ₹2350 = ₹5,950
EPF में कंट्रीब्यूशन
- अप्रैल में कुल EPF कंट्रीब्यूशन= ₹5,950
- EPF पर अप्रैल में ब्याज= Nil (पहले महीने में कोई ब्याज नहीं)
- अप्रैल के अंत में EPF अकाउंट बैलेंस= ₹5,950
- मई में EPF कंट्रीब्यूशन= ₹5,950
- मई के अंत में EPF अकाउंट बैलेंस= ₹11,900
- हर महीने के हिसाब से ब्याज की गणना (EPF Interest calculation)= 8.50%/12 = 0.007083%
- मई के EPF पर ब्याज की गणना= ₹11,900*0.007083%= ₹84.29
लगाया जाता है यह फॉर्मूला
किसी भी वित्त वर्ष के लिए ब्याज दर सरकार की तरफ से नोटिफाई की जाती है. चालू वित वर्ष खत्म होने पर ब्याज का कैलकुलेशन (EPF Interest calculation) किया जाता है. साल के हर महीने की आखिरी तारीख को बैलेंस राशि को जोड़कर उस राशि को तय ब्याज दर को भागकर 1200 से गुनाकर ब्याज राशि निकाली जाती है.
Zee Business Hindi Live TV यहां देखें
10:02 AM IST