अक्षता मूर्ति बंद करेंगी अपना स्टार्टअप इन्वेस्टमेंट वेंचर, 10 साल पहले ऋषि सुनक के साथ मिलकर किया था शुरू
अक्षता मूर्ति ने अपनी निवेश कंपनी कैटामरान वेंचर्स यूके लिमिटेड को लिक्विडेट करने का फैसला किया है. कंपनी के आधिकारक विवरण में यह जानकारी दी गई है.
अक्षता मूर्ति की कंपनी बंद होगी. (Image: @RishiSunak)
अक्षता मूर्ति की कंपनी बंद होगी. (Image: @RishiSunak)
ब्रिटेन के प्रधानमंत्री ऋषि सुनक की पत्नी अक्षता मूर्ति ने अपनी निवेश कंपनी कैटामरान वेंचर्स यूके लिमिटेड को लिक्विडेट करने का फैसला किया है. कंपनी के आधिकारक विवरण में यह जानकारी दी गई है. अक्षता ने वर्ष 2013 में अपने पति के साथ मिलकर यह उद्यम शुरू किया था. हालांकि, सुनक ने राजनीति में आने के समय वर्ष 2015 में कैटामरान वेंचर्स के निदेशक पद से इस्तीफा दे दिया था.
साल के अंत तक बंद होगी कंपनी
पिछले वित्त वर्ष के लिए बुधवार को उपलब्ध कंपनी के नवीनतम वित्तीय विवरण के अनुसार, कैटामरान की एकमात्र निदेशक अक्षता ने अब अपनी फर्म को एक चालू कंपनी के रूप में बंद करने का फैसला किया है. इस वित्तीय विवरण के मुताबिक, ‘‘वर्ष के दौरान निदेशकों ने कंपनी का लिक्विडेशन करने का फैसला किया है. इसके बाद वित्तीय विवरण को चालू आधार से इतर पैमाने पर तैयार किया गया है.’’
इस अवधि में कंपनी के निवेश का मूल्य 38 लाख पाउंड से थोड़ा अधिक रहा, जो 2021 के 35 लाख पाउंड से ज्यादा है. अक्षता मूर्ति का बकाया 46 लाख पाउंड से अधिक था. कैटामरान वेंचर्स यूके लिमिटेड भारतीय सॉफ्टवेयर कंपनी इन्फोसिस में अक्षता के शेयरों से हासिल राशि के एक निवेश साधन के तौर पर काम करती रही है. अक्षता के पिता एन आर नारायण मूर्ति इन्फोसिस के सह-संस्थापक हैं.
एजुकेशन स्टार्टअप भी हो गया था बंद
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‘द टाइम्स’ अखबार के एक विश्लेषण के अनुसार, कैटामरान-समर्थित शिक्षा स्टार्टअप मिसेज वर्डस्मिथ ब्रिटिश सरकार की फ्यूचर फंड नामक महामारी सहायता योजना से 6.5 लाख पाउंड पाने के छह महीने से भी कम समय में बंद हो गया था. इसके अलावा कैटामरान समर्थित फर्नीचर कंपनी न्यू क्राफ्ट्समैन को भी इस फंड से लाभ हुआ था.
कैटामरान की हिस्सेदारी वाली शिक्षा प्रौद्योगिकी फर्म स्टडी हॉल को पिछले साल सरकारी निकाय इनोवेट यूके से 3.50 लाख पाउंड का अनुदान मिलने पर विपक्षी दल लेबर पार्टी ने सवाल उठाए थे. इसके अलावा बच्चों की देखभाल से जुड़ी कोरू किड्स में अक्षता का निवेश होने और इसके ब्रिटिश सरकार की बजट योजना से लाभान्वित होने की बात सामने आने पर भी विवाद खड़ा हुआ था.
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09:27 AM IST