Budget 2023: देश का बजट अब पेश होने ही वाला है. 1 फरवरी को देश की वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण संसद में यूनियन बजट पेश करेंगी. यूनियन बजट में देश के हर सेक्टर, कॉरपोरेट्स और आम आदमी केलिए कुछ न कुछ बदलाव आते हैं. ऐसे में कम आमदनी वाले लोगों को टैक्स से थोड़ी राहत मिले इसकी सब उम्मीद लगाए बैठे हैं. इसी बात को ध्यान में रखते हुए Zee Business वित्त मंत्री जी से कुछ अपील कर रहा है, जो आम आदमी के लिए काफी राहत भरी हो सकती हैं. इसके लिए हमने शुरू की है खास सीरीज "वित्त मंत्री जी ये तो बदलिए...".

क्या है आज की मांग?

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आज की मांग ऐसी है जो की देश की ज्यादा तर जनता को पसंद आएगी. Zee Business के मैनेजिंग एडिटर अनिल सिंघवी ने वित्त मंत्री से मांग की है कि वो आम आदमी जिनकी आमदनी कम है उनको टैक्स में राहत दे. उनकी बेसिक टैक्स एक्सेम्पशन लिमिट बढ़ा दें.

आइए देखते है क्या कहा अनिल सिंघवी ने?

अनिल सिंघवी ने वित्त  मंत्री जी से अपनी मांग रखते हुए कहा कि- “देखिए वित्त मंत्री जी, आप तो चाहेंगी की ज्यादा से ज्यादा लोग टैक्स के दायरे में आए. बात भी सही है. टैक्स लगना भी चाहिए. लेकिन किनपर? जो ज्यादा कमाए, उनपर! जिनकी कमाई थोड़ी सी है उन्हें तो थोड़ी राहत दीजिए. देखिए, 2014-15 में आपने क्या किआ? जो टैक्स की एक्सेम्पशन लिमिट थी वो थी 2.5 लाख रुपए. तब से लेकर अब तक 8 साल हो गए, पर ये लिमिट बढ़ी ही नहीं. अगर महंगाई के हिसाब से देखे तो करीबन-करीबन ये लिमिट बढ़कर 3.45 लाख रुपए हो जानी चाहिए थी. क्योंकि, आठ साल पहले के ढाई लाख रुपए की वैल्यू इतनी रही ही नहीं है. तो कम से कम जो सबसे निचे के लोग है जिनको एक्सेम्पशन की जरुरत है, जिनके पास थोड़ा पैसा आएगा तो खर्च करेंगे, उनकी लिमिट तो बढ़ाइए. इस बार है ना, बजट में बेसिक मिनिमम एक्सेम्पशन लिमिट को बढाकर 3.5-4 लाख कर दीजिए. प्लीज, इतना तो करिए वित्त मंत्री जी”.

 

 

क्यों बढ़नी चाहिए बेसिक मिनिमम एक्सेम्पशन लिमिट?

बेसिक मिनिमम एक्सेम्पशन लिमिट क्यों बढ़नी चाहिए, इसपर अनिल सिंघवी ने कहा कि- “जितनी भी कम इनकम वाले लोग हैं अगर उनके हाथ में पैसे बढ़ते है, तो वो सीधा कंसम्पशन में जाते है. बेसिक कंसम्पशन आपका बढ़ता है तो दो वजह से टैक्स एक्सेम्पशन लिमिट बढ़ाने की ज़रूरत है. एक- बढ़ती हुई महंगाई के साथ आप देखिए, किसी से भी पूछिए दो साल पहले जितना आपका घर का बजट था उसमें कम से कम 25 से 30% की बढ़ोतरी हुई है, पर आप चीज़े वही मेन्टेन कर रहे है, क्योंकि कॉस्ट बढ़ चुकी है. तो उस हिसाब से एक्सेम्पशन लिमिट बढ़नी चाहिए. और, दूसरा, अगर लोगों के हाथ में पैसा रहेगा तो लोग खर्च करेंगे, जिससे की इकॉनमी में ग्रोथ आएगी.” 

 

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