चीन ने अपनी लाखों अरब डॉलर की महत्वाकांक्षी बेल्ट एंड रोड परियोजनाओं की सूची से से बांग्लादेश-चीन-भारत-म्यांमार (BCIM) आर्थिक गलियारा को हटा दिया है. बीसीआईएम को हटाने के कारणों के बारे में तत्काल कुछ नहीं बताया गया है लेकिन बेल्ट एंड रोड शिखर सम्मेलन के दूसरे संस्करण के लीडर्स राउंडटेबल के संयुक्त पत्र में जिन परियोजनाओं की सूची का जिक्र किया गया है, उनमें इस गलियारे का उल्लेख नहीं है.

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भारत ने चीन-पाकिस्तान आर्थिक गलियारा परियोजना (CPEC) का विरोध करते हुए सम्मेलन में हिस्सा नहीं लिया. सीपीईसी पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर से होकर गुजरता है, इसलिए भारत इसका विरोध करता है. 

सीपीईसी की तरह बीसीआईएम भी बेल्ट एंड रोड परियोजना के 6 प्रमुख गलियारों में शामिल था. इसका मकसद चीन के पूर्वी शहर कुन्मिंग को बांग्लादेश के ढाका और म्यांमार के मांडले समेत भारत के कोलकाता से जोड़ना था.

भारत ने बीसीआईएम का विरोध तो नहीं किया लेकिन इस परियोजना के प्रति ठंडी प्रतिक्रिया दी है क्योंकि देश की पूर्वी सीमा पर स्थित पड़ोसी देशों में चीन का बढ़ता वर्चस्व भारत के लिए चिंता का सबब है. 

भारत को यह भी आशंका है कि इस परियोजना से देश के पूर्वोत्तर के इलाकों को खतरा पैदा होगा. चीन की सत्ता में आसीन चीनी कम्युनिस्ट पार्टी ने 22 अप्रैल को अपनी रिपोर्ट में बीसीआईएम को बेल्ट एंड रोड पहल के तहत एक परियोजना बताया था.