White Gold Price: अक्षय तृतीया के मौके पर देशभर में सोने की खरीदारी हो रही है. लोग इस दिन शुभ खरीदारी के तौर पर सोने में निवेश करते हैं. इस साल सोना 60,000 के लेवल के ऊपर चल रहा है, ऐसे में लोग गोल्ड के दूसरे विकल्पों की ओर भी देख रहे हैं. डिजिटल गोल्ड, गोल्ड ईटीएफ, गोल्ड म्यूचुअल फंड ऐसे कई अल्टरनेटिव ऑप्शंस हैं, लेकिन अगर आपको फिजिकल गोल्ड ही खरीदना है, लेकिन कुछ अलग चाहते हैं तो White Gold की ओर भी देखा जा सकता है. क्या आपको पता है व्हाइट गोल्ड क्या होता है और ये पीले धातु सोने से कैसे अलग होता है.

व्हाइट गोल्ड क्या होता है? (What is White Gold?)

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जब सोना बिल्कुल शुद्ध होता है तो इसकी चमक पीली होती है. इसमें पूरी तरह से सोना ही होता है, किसी और धातु की मिलावट नहीं होती. ये 24 कैरेट सोना होता है. हालांकि, इससे कम कैरेट का सोना भी होता है, जिसमें कुछ दूसरे धातु मिलाए जाते हैं, जिनसे इनकी पीली चमक बनी रहे और इन्हें आभूषणों में ढाला जा सके. 24 कैरेट सोना इतना नरम होता है कि इससे आभूषण नहीं बनाए जा सकते. लेकिन जब सोने में सफेद या सिल्वर चमक वाले धातु मिलाए जाते हैं, तो उसकी चमक थोड़ी कम हो जाती है.

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पीली चमक नहीं पसंद तो व्हाइट गोल्ड है आपकी चॉइस

बहुत से लोगों को सोने की पीली चमक नहीं पसंद होती है और वो थोड़ा हल्की ज्वैलरी पहनना चाहते हैं, ऐसे में उन्हें व्हाइट गोल्ड पसंद आता है. व्हाइट गोल्ड कई तरह के Hue लिए हुए होता है. व्हाइट गोल्ड बनाने के लिए 24 कैरेट सोने में निकेल और ज़िंक जैसे सफेद धातु मिलाए जाते हैं. व्हाइट गोल्ड को प्लेटिनम के विकल्प के तौर पर पेश किया जाता है. इसमें 75% सोना और बाकी 25% निकेल और ज़िंक होते हैं.

व्हाइट गोल्ड की खूबियां

व्हाइट गोल्ड, गोल्ड और सफेद धातु से बना होता है. इसपर रोडियम जोकि सफेद/सिल्वर मेटल होता है, से कोट किया जाता है, जिससे इसपर चमक आ जाती है. 14 कैरेट और 18 कैरेट पर इसे प्योर गोल्ड के तौर पर बेचा जाता है. 14 कैरेट का व्हाइट गोल्ड ज्यादा मजबूत और टिकाऊ होता है. इसपर भी आपको हॉलमार्क का स्टांप मिलता है. ये प्लेटिनम के मुकाबले ज्यादा अफोर्डेबल भी होता है.

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व्हाइट गोल्ड, येलो गोल्ड से अलग कैसे होता है?

1. व्हाइट गोल्ड और येलो गोल्ड में फर्क उनके कंपोजिशन को लेकर होता है. 18 कैरेट व्हाइट गोल्ड में 75 फीसदी सोना और 14 कैरेट में 58.3% सोना होता है. वहीं, 24 कैरेट येलो गोल्ड में 99.9%, 22 कैरेट में 91.7%, 18 कैरेट में 75% और 14 कैरेट में 58.3% प्योर गोल्ड होता है.

2. व्हाइट गोल्ड में निकेल, ज़िंक और कॉपर जैसे मेटल मिलाए जाते हैं, वहीं येलो गोल्ड में ज़िंक और कॉपर मिलाया जाता है.

3. व्हाइट गोल्ड में सफेद और सिल्वर सी चमक होती है. वहीं सोने में पीली चमक होती है.

4. व्हाइट गोल्ड का मेंटेनेंस थोड़ा मुश्किल होता है क्योंकि ये वक्त के साथ पीला पड़ने लगता है, ऐसे में आपको इसे टाइम पर रीकोटिंग और रीपॉलिश कराना पड़ता है. साथ ही इसपर स्क्रैच भी पड़ सकते हैं. पीले सोने में मेंटेनेंस की ज्यादा कोई फिक्र नहीं करनी होती है. लंबे वक्त के इस्तेमाल के साथ अगर ये थोड़ा मद्धम पड़ भी जाता है, तो आप इसे जाकर साफ करा सकते हैं.

5. ऐसे लोगों को व्हाइट गोल्ड से रिएक्शन हो सकता है, जिन्हें मेटल से एलर्जी होती है. सोना हाइपोएलर्जेनिक होता है, यानी इससे मेटल एलर्जी की ज्यादा समस्या नहीं होती.

6. कीमत और टिकाऊपन में दोनों लगभग एक जैसे ही होते हैं. दोनों की कीमतें एक समान ही चलती हैं. वहीं आप इन दोनों टाइप के गोल्ड को रोजमर्रा में यूज़ कर सकते हैं.

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