आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस को लेकर आई राहत भरी खबर, AI से खतरे में नहीं है आपकी नौकरी! रिसर्च में आया सामने
AI को पूरी ताकत से इस्तेमाल किया जाए, तो 1.6 फीसदी वर्कर्स की नौकरी पर ही असर पड़ेगा. MIT का मानना है कि AI से लोगों की नौकरियों पर असर तो पड़ेगा, मगर ये बहुत धीरे-धीरे होगा.
Image Source: Freepik
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जहां दुनियाभर के शोधकर्ता आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) के कारण जल्द ही नौकरियां खत्म होने की उम्मीद कर रहे हैं, वहीं एक रिसर्च में यह बात सामने आई है कि आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस (Artificial Intelligence) फिलहाल बड़ी संख्या में कर्मचारियों की जगह नहीं ले सकता. MIT के कंप्यूटर साइंस एंड आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस लेबोरेटरी (CSAIL) की ओर से किए गए एक हालिया रिसर्च में जांच की गई.
AI से लोगों की नौकरियों पर कितना असर
रिसर्च में जांच की गई कि क्या AI मनुष्यों की तुलना में अधिक कुशलता से कार्य कर सकता है और क्या व्यवसायों के लिए मानव श्रम को AI के साथ बदलना लागत प्रभावी है. शोध में श्रम बाजार में AI कार्यान्वयन के व्यापक प्रभावों को ध्यान में रखा गया. रिसर्चर्स ने पाया कि कंप्यूटर विजन AI वर्तमान में उन कार्यों को स्वचालित कर सकता है जो कृषि को छोड़कर अमेरिकी अर्थव्यवस्था में श्रमिकों के वेतन का 1.6 प्रतिशत बनाते हैं.
AI का प्रभाव नौकरियों पर कम
हालांकि पूरी अर्थव्यवस्था के 0.4 प्रतिशत के बराबर उन वेतनों का केवल 23 प्रतिशत ही कंपनियों के लिए मौजूदा लागत पर मानव श्रमिकों को काम पर रखने के बजाय स्वचालित करना सस्ता होगा. लेखकों ने कहा, हमने पाया है कि आज की कीमत पर अमेरिकी व्यवसाय "AI एक्सपोजर" वाले अधिकांश विजन कार्यों को स्वचालित नहीं करने का विकल्प चुनेंगे और विजन कार्यों के लिए भुगतान किए जाने वाले श्रमिकों के वेतन का केवल 23 प्रतिशत स्वचालित करना आकर्षक होगा. उन्होंने कहा, कुल मिलाकर हमारे निष्कर्ष बताते हैं कि AI नौकरी स्थानांतरण संतोषजनक लेकिन धीरे-धीरे होगा और इसलिए बेरोजगारी के प्रभावों को कम करने के लिए नीति और पुनर्प्रशिक्षण की गुंजाइश है.
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अध्ययन में उन दृष्टि कार्यों के उदाहरण शामिल थे, जिन्हें AI हासिल कर सकता है, जिसमें अस्पताल के नैदानिक उपकरणों से छवियों का विश्लेषण करना या ट्रे की जांच करना शामिल है ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि उनमें सही वस्तुएं हैं. रिसर्चर्स ने कर्मचारियों का उनके कार्यों का हिस्सा निर्धारित करने के लिए सर्वेक्षण किया जिन्हें कंप्यूटर विजन द्वारा पूरा किया जा सकता है. बाद में उन्होंने लागत प्रभावशीलता का आकलन करने के लिए मॉडल विकसित किए. उन्होंने पाया कि श्रमिकों को बदलने के लिए AI विज़ुअल डिटेक्शन का उपयोग करना शायद ही कभी सार्थक होगा.
AI सर्विस से सस्ता है इंसानों का काम
हमने पाया कि औसत कर्मचारी एक ऐसी फर्म में काम करता है जहां किसी भी विजन कार्य को स्वचालित करना लागत प्रभावी नहीं है. यहां तक कि 5,000 कर्मचारियों वाली एक फर्म यानी अमेरिका में 99.9 प्रतिशत से बड़ी कंपनियां मौजूदा लागत संरचना पर अपने मौजूदा विजन श्रम के दसवें हिस्से से भी कम लागत को प्रभावी ढंग से स्वचालित कर सकती हैं. अध्ययन ने स्वीकार किया कि AI की लागत समय के साथ कम हो जाएगी लेकिन लेखकों को नहीं लगता कि यह इतनी जल्दी ऐसा करेगा जैसा कि कुछ ने सुझाव दिया है. उन्होंने यह भी भविष्यवाणी की है कि AI को इस प्रकार का बड़ा प्रभाव डालने में कुछ समय लगेगा.
07:48 PM IST