Vedanta Share Price: वेदांता का शेयर इस समय चर्चा और एक्शन दोनों में है. रिपोर्ट है कि दुनिया के सबसे बड़े असेट मैनेजर BlackRock, अबूधाबी इन्वेस्टमेंट अथॉरिटी और घरेलू म्यूचुअल फंड्स ने इस कंपनी में हिस्सेदारी खरीदी है. आईसीआईसीआई म्यूचुअल फंड और निप्पॉन इंडिया म्यूचुअल फंड ने पिछले 4 महीनों में वेदांता में अपनी हिस्सेदारी करीब दो फीसदी बढ़ाई है. इस हफ्ते वेदांता के शेयर में जोरदार एक्शन रहा और यह 17% उछलकर 318 रुपए के रिकॉर्ड स्तर पर बंद हुआ.

2024 में 3 बिलियन डॉलर बढ़ा मार्केट कैप

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इस दौरान FII ने भी अपनी हिस्सेदारी 1.2 फीसदी बढ़ा दी है. हाल के दिनों में वेदांता में जो रैली आई है वह डीमर्जर प्लान के कारण है. इसके अलावा मेटल की कीमत में तेजी का फायदा भी इस कंपनी को मिल रहा है. यही वजह है कि डोमेस्टिक और इंटरनेशनल फंड्स Vedanta Share पर बुलिश हो रहे हैं. इसके चलते दिसंबर के बाद से वेदांता का मार्केट कैप करीब 3 बिलियन डॉलर बढ़ा है.

दिसंबर तिमाही के आधार पर Vedanta में शेयर होल्डिंग

दिसंबर तिमाही के आधार पार Vedanta Ltd में शेयर होल्डिंग पैटर्न की बात करें तो प्रमोटर की हिस्सेदारी 63.71% है. FII की हिस्सेदारी 7.74% थी जो सितंबर तिमाही में 7.82% और उसस पहले 7.48% और मार्च 2023 तिमाही में 7.89% थी. DII की बात करें तो उनकी हिस्सेदारी दिसंबर तिमाही में 11.19% और उससे पहले 10.59%, 9.98% और मार्च 2023 में 10.20% थी. 

Vedanta Share Price History

एक दिन की मामूली गिरावट को छोड़ दें तो वेदांता का शेयर 26 मार्च से लगातार तेजी के साथ बंद हो रहा है. इस दौरान यह शेयर 268 रुपए से 320 रुपए के स्तर तक पहुंचा. शुक्रवार यानी 5 अप्रैल को इसने इंट्राडे में 322 रुपए का न्यू 52 वीक्स हाई बनाया. इस स्टॉक के लिए ऑल टाइम हाई 495 रुपए का है जो इसने अप्रैल 2010 में बनाया था. इस हफ्ते शेयर में 17%, एक महीने में 12%, तीन महीने में 20% और इस साल अब तक 24% का उछाल आया है.

Q4 में वेदांता का एल्युमीनियम उत्पादन बढ़ा

वेदांता लिमिटेड का वित्त वर्ष 2023-24 की चौथी तिमाही में कुल एल्युमीनियम उत्पादन सालाना आधार पर चार फीसदी बढ़कर 5,98,000 टन रहा. वेदांता ने बीएसई को दी जानकारी में बताया कि वित्त वर्ष 2022-23 की इसी तिमाही में कंपनी का एल्युमीनियम उत्पादन 5,74,000 टन था. जिंक इंडिया में चौथी तिमाही में खनन धातु का उत्पादन घटकर 2,99,000 टन हो गया. वित्त वर्ष 2022-23 की इसी तिमाही में यह 3,01,000 टन से अधिक था. समीक्षाधीन तिमाही में रिफाइंड जिंक उत्पादन दो फीसदी बढ़कर 2,20,000 टन हो गया, जबकि रिफाइंड सीसा का उत्पादन घटकर 53,000 टन रहा.