DHFL Fraud Case: सीबीआई ने शनिवार को 17 बैंकों के संघ के साथ 34615 करोड़ रुपये के फ्रॉड के मामले में डीएचएफएल (Dewan Housing Finance Corporation Limited) के तत्कालीन सीएमडी कपिल वधावन और डीएचएफएल के तत्कालीन निदेशक धीरज वधावन के खिलाफ दिल्ली के राउज एवेन्यू के स्पेशल कोर्ट में चार्जशीट फाइल की. सीबीआई (CBI) की इस चार्जशीट में कपिल वधावन और धीरज वधावन के अलावा 17 अन्य लोग और 57 कंपनियां भी शामिल हैं. बताते चलें कि सीबीआई ने दोनों भाइयों को करोड़ों रुपये के बैंक लोन फ्रॉड के मामले में 19 जुलाई को गिरफ्तार किया था.

कोर्ट ने खारिज कर दी थी वधावन भाइयों की जमानत याचिका

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जिसके बाद कपिल और धीरज वधावन ने दिल्ली के स्पेशल कोर्ट में जमानत के लिए याचिका दायर की थी. आरोपियों का कहना था कि सीबीआई उनकी गिरफ्तारी से 60 दिन की अनिवार्य अवधि के अंदर उनके खिलाफ चार्जशीट फाइल नहीं कर पाई, इसलिए उन्हें इस मामले में वैधानिक जमानत या ‘डिफॉल्ट’ जमानत का अधिकार है.

हालांकि, स्पेशल कोर्ट के जज विशाल गोगने ने 3 अक्टूबर को ये कहते हुए वधावन भाइयों की वैधानिक जमानत याचिका को खारिज कर दिया था कि जांच में मौजूदा चार्जशीट फाइल करना दंड प्रक्रिया संहिता (सीआरपीसी) की धारा 167 (2)(ए)(आई) के तहत रहेगा, जिसमें अधिकतम 90 दिन की अवधि का प्रावधान है.

आपराधिक साजिश के तहत 17 बैंकों के संघ के साथ की थी धोखाधड़ी

बताते चलें कि यूनियन बैंक ऑफ इंडिया की शिकायत के आधार पर दर्ज रिपोर्ट के अनुसार डीएचएफएल, उसके तत्कालीन अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक (सीएमडी) कपिल वधावन, तत्कालीन निदेशक धीरज वधावन और अन्य आरोपियों ने कथित तौर पर आपराधिक साजिश के तहत यूनियन बैंक ऑफ इंडिया की अगुवाई वाले 17 बैंकों के समूह के साथ धोखाधड़ी की.