दूरसंचार विभाग भारतीय सीमा में विमानों और जलयानों पर यात्रियों को शुरू में सिर्फ डेटा सेवाओं की अनुमति देने पर विचार कर रहा है. उड़ान के दौरान (इन फ्लाइट) कनेक्टिवटी के दिशानिर्देशों के तहत यात्रियों को उड़ान तथा समुद्री परिवहन के दौरान सिर्फ राष्ट्रीय सीमाओं के अंदर वॉयस और डेटा सेवाओं की अनुमति दी जाएगी. 

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दूरसंचार विभाग के एक अधिकारी ने पीटीआई भाषा से कहा, 'दूरसंचार विभाग शुरुआत में उड़ान के दौरान कनेक्टिविटी के दिशानिर्देशों के तहत सिर्फ डेटा सेवाओं के लिए आवेदन लेगा. वॉयस के गेटवे को लेकर अभी कुछ मुद्दे हैं. इसलिए ये सेवाएं तत्काल शुरू नहीं होंगी.' ज्यादातर विकसित बाजारों में इन फ्लाइट सेवा उपलब्ध है.

हालांकि, विमान के उड़ान भरने और उतरने के दौरान मोबाइल फोन के इस्तेमाल पर अंकुश रहेगा लेकिन दूरसंचार आयोग ने विमान के सीधी दिशा में चलने के दौरान मोबाइल फोन और इंटरनेट सेवाओं के इस्तेमाल से रोक हटा दी है. वैश्विक स्तर पर कई एयरलाइंस अपने यात्रियों के लिए वाईफाई सेवाएं दे रही हैं, लेकिन भारतीय हवाई क्षेत्र में प्रवेश पर उन्हें इस सुविधा को बंद करना पड़ता है.

एयरएशिया, एयर फ्रांस, ब्रिटिश एयरवेज, इजिप्ट एयर, एमिरेट्स, एयर न्यूजीलैंड, मलेशिया एयरलाइंस, कतर एयरवेज और वर्जिन अटलांटिक उन 30 एयरलाइंस में से हें जो उड़ान में मोबाइल के इस्तेमाल की अनुमति देती हैं, लेकिन भारतीय हवाई क्षेत्र में उनको इसकी अनुमति नहीं है. दूरसंचार विभाग इन दिशानिर्देशों को अधिसूचित करने से पहले संभवत: अगले सप्ताह विधि मंत्रालय से इनकी समीक्षा को कहेगा.