Boeing 737: एविएशन रेगुलेटर DGCA ने अपने बेड़े में बोइंग-737 विमानों का इस्तेमाल करने वाली भारतीय एयरलाइंस को दिशा नियंत्रण प्रणाली (रडर) के जाम होने के संभावित जोखिम के बारे में सोमवार को सलाह जारी की. यह कदम अमेरिकी राष्ट्रीय परिवहन सुरक्षा बोर्ड (NTCB) की हालिया जांच रिपोर्ट के बाद उठाया गया है. उस रिपोर्ट में कोलिंस एयरोस्पेस एसवीओ-730 दिशा नियंत्रण प्रणाली से लैस बोइंग-737 विमानों से जुड़ी सुरक्षा चिंताएं जताई गई हैं. 

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नागर विमानन महानिदेशालय (DGCA) ने रडर नियंत्रण प्रणाली के जाम होने के संभावित जोखिम को देखते हुए घरेलू एयरलाइन कंपनियों के लिए सुरक्षा सिफारिशें जारी की हैं. 

भारत में ये एयरलाइंस करती हैं इस्तेमाल

इस समय बोइंग-737 विमानों का इस्तेमाल एयर इंडिया एक्सप्रेस, अकासा एयर और स्पाइसजेट एयरलाइन कर रही हैं. 

डीजीसीए ने जारी की चेतावनी

DGCA ने कहा कि सभी उड़ान कर्मचारियों को दिशा नियंत्रण प्रणाली के जाम या प्रतिबंधित होने की आशंका को लेकर एक परिपत्र/ सलाह जारी की जानी चाहिए. 

एविएशन रेगुलेटर ने कहा, "चालक दल के सदस्यों को ऐसी स्थिति की पहचान करने और उसे संभालने में मदद करने के लिए उचित कदम के बारे में बताया जाना चाहिए."

इन जोखिमों पर काम करने की जरूरत

इसके अलावा सभी एयरलाइंस को दिशा नियंत्रण प्रणाली से जुड़े जोखिम का मूल्यांकन करने और उसे कम करने के लिए विमान के लिए सुरक्षा जोखिम मूल्यांकन करने को कहा गया है.

इन चीजों के लिए दें ट्रेनिंग 

DGCA ने कहा, "विमानन कंपनियों को निर्देश दिया गया है कि वे रडर प्रणाली जाम होने या बाधित होने से जुड़े हालात से निपटने की गतिविधि को भी अपने प्रशिक्षण और दक्षता जांच के दौरान शामिल करें." 

रेगुलेटर ने कहा कि अंतरिम उपायों का उद्देश्य हवाई यात्रा सुरक्षा को बढ़ाना और यह सुनिश्चित करना है कि उड़ान चालक दल दिशा नियंत्रण से जुड़े मुद्दों के प्रभावी निपटान के लिए अच्छी तरह तैयार हैं.