केंद्र की मोदी सरकार काफी समय से 'वन नेशन वन कार्ड' की वकालत करती आई है. हालांकि 'वन नेशन वन कार्ड' से सरकार का मतलब एक ऐसे कार्ड से जिससे आप मेट्रो और बस में सफर कर सकते हैं और साथ ही उससे टोल टैक्स का भुगतान भी कर सकते हैं. कई जगहों पर इस कार्ड का इस्तेमाल शुरू हो गया है. नेशनल कॉमन मोबिलिटी कार्ड (एनसीएमसी या NCMC) नाम दिया गया है.

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'वन नेशन वन कार्ड' के बाद सरकार एक पहचान पत्र की पॉलिसी पर काम कर रही है. सरकार की मंशा है कि किसी आदमी को अलग-अलग पहचान के लिए अलग-अलग कार्ड रखने की बजाए उसे एक ही कार्ड में शामिल किया जाए. जैसे ड्राइविंग लाइसेंस (driving licence), आधार कार्ड (Aadhar Card), वोटर आईडी कार्ड (Voter ID) और पासपोर्ट (Passport) वगैरह की जगह एक ऐसा कार्ड तैयार किया जाए, जिसमें सभी जरूरतों को पूरा किया जा सके. 

 

गृहमंत्री अमित शाह (Amit Shah) ने देश में एक पहचान पत्र की वकालत की है. इस पहचान पत्र में पासपोर्ट, आधार, मतदाता पहचान पत्र समेत अन्य आईडी प्रूफ शामिल होंगे. उन्होंने कहा कि आधार, पासपोर्ट, बैंक खाते, ड्राइविंग लाइसेंस और वोटर कार्ड जैसी सभी सुविधाओं के लिए एक ही कार्ड तैयार किया जा सकता है.

अमित शाह ने कहा कि एक ऐसा सिस्‍टम तैयार करने की जरूरत है कि अगर किसी व्यक्ति की मौत हो जाती है तो उसकी जानकारी जनसंख्या डाटा में अपनेआप ही अपडेट हो जाए. उन्‍होंने कहा कि 2021 में होने वाली जनगणना मोबाइल ऐप के जरिए की जाएगी.