2 साल की सबसे बड़ी गिरावट के बाद कैसा खुलेगा बाजार? जानिए Nifty का सपोर्ट अब कहां है
शेयर बाजार में 2 साल की सबसे बड़ी गिरावट दर्ज की गई. जानिए Nifty के लिए सपोर्ट कहां है और टेक्निकल स्ट्रक्चर क्या कहता है. बाजार का सेंटिमेंट अभी कमजोर हो गया है.
Stock Market: बुधवार को शेयर बाजार में 2 साल की सबसे बड़ी गिरावट दर्ज की गई. लगातार दूसरे कारोबारी सत्र में शेयर बाजार गिरावट के साथ बंद हुआ. इन दो कारोबारी सत्र में निवेशकों के 5.73 लाख करोड़ रुपए डूब गए. सेंसेक्स 1628 अंक यानी 2.23 फीसदी की गिरावट के साथ 71500 और निफ्टी 460 अंकों की गिरावट के साथ 21572 अंकों पर बंद हुआ. IT इंडेक्स छोड़कर निफ्टी के सभी इंडेक्स लाल निशान में बंद हुए. सबसे ज्यादा बैंकिंग और फाइनेंशियल इंडेक्स में आया.
HDFC Bank में मई 2020 के बाद सबसे बड़ी गिरावट
इस गिरावट का सबसे बड़ा कारण HDFC Bank के शेयर में सवा आठ फीसदी की गिरावट का आना है जो मई 2020 के बाद का अब तक की सबसे बड़ी गिरावट है. यह शेयर 1542 रुपए के स्तर पर बंद हुआ. बाजार की हालिया तेजी का बड़ा कारण IT कंपनियों के उम्मीद से बेहतर प्रदर्शन थे.
Nifty के लिए जानिए कहां है सपोर्ट?
HDFC सिक्योरिटीज के रीटेल रिसर्च प्रमुख दीपक जसानी ने कहा कि 13 जून 2022 के बाद यह बाजार की सबसे बड़ी इंट्राडे गिरावट है. निफ्टी का टेक्निकल स्ट्रक्चर बियरिश ट्रेंड की तरफ इशारा कर रहा है. अगर इस गिरावट में Nifty 21449 का स्तर तोड़ता है तो यह 20977 की तरफ आगे बढ़ेगा. तेजी की स्थिति में इमीडिएट आधार पर 21851 पर अवरोध है. ब्रोकरेज के टेक्निकल रिसर्च ऐनालिस्ट नागराज शेट्टी ने कहा कि निफ्टी का शॉर्ट टर्म ट्रेंड रिवर्सल दिख रहा है. इस बात की संभावना है कि 21000 के स्तर तक करेक्शन आए. इमीडिएट आधार पर तेजी में 21750-21850 के स्तर पर अवरोध है.
ग्लोबल और डोमेस्टिक दोनों जगह कमजोर संकेत
मोतीलाल ओसवाल फाइनेंशियल सर्विसेज के रीटेल रिसर्च प्रमुख सिद्धार्थ खेमका ने कहा कि ग्लोबल मार्केट का सेंटिमेंट भी कमजोर है. HDFC Bank के रिजल्ट ने मूड को और खराब किया है. इस समय ग्लोबल और डोमेस्टिक दोनों संकेत कमजोर हैं. फेडरल रिजर्व का हॉकिश कमेंटरी अभी भी है. मिडिल ईस्ट में टेंशन बढ़ रह रही है. बॉन्ड यील्ड और डॉलर इंडेक्स में उछाल है. बाजार में कंसोलिडेशन बने रहने की उम्मीद है. Q3 रिजल्ट के दम पर स्टॉक स्पेसिफिक एक्शन दिख सकता है.
क्वॉलिटी NBFC की तरफ देखने की जरूरत
Emkay ग्लोबल फाइनेंशियल के बिजनेस डेवलपमेंट हेड जयकृष्ण गांधी ने कहा कि IT कंपनियों के नतीजों के दम पर पिछले हफ्ते बाजार में जोरदार तेजी देखने को मिली. बैंकों के सामने क्रेडिट ग्रोथ और मार्जिन को लेकर समस्या नजर आ रही है. निवेशकों को गुड क्वॉलिटी NBFC की तरफ टैक्टिकल देखने की जरूरत है.
बैंकों के मार्जिन को लेकर चिंता
Axis सिक्योरिटीज PMS के मुख्य निवेश अधिकारी नवीन कुलकर्णी ने कहा, ‘‘HDFC Bank के परिणाम के बाद बैंकों के शेयरों में जो गिरावट आई है, उसकी वजह से बाजार आज लुढ़का है. एचडीएफसी बैंक का परिणाम बताता है कि कर्ज/जमा अनुपात आरबीआई के संतोषजनक स्तर से ऊपर है. यह मामला अन्य बैंकों के साथ भी है. इससे बाजार को लगता है कि अगर बैंक आक्रामक रूप से जमा जुटाने को जाते हैं तो इससे कर्ज वृद्धि पर असर पड़ेगा. इससे मार्जिन पर दबाव आएगा. इससे क्षेत्र में साख के कम होने का जोखिम है.’’ उन्होंने कहा, ‘‘हाल में जो तेजी आई थी और खासकर शेयरों का भाव जो उच्चस्तर पर था, उसको देखते हुए यह गिरावट आई है.’’