सोने के दाम में (gold price today) मंगलवार 8-9-2020 को बाजार खुलते ही गिरावट देखी गई. सुबह लगभग 9.30 बजे सोना मल्टी कमोडिटी एक्सचेंज (MCX) पर लगभग 237.00 रुपये की गिरावट के साथ 50828.00 रुपये प्रति 10 ग्राम पर कारोबार कर रहा था. चांदी 392.00 रुपये की गिरावट के साथ 67879.00 रुपये प्रति किलो पर कारोबार कर रही थी.

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गोल्ड में निवेश का है अच्छा मौका 

बाजार के जानकारों के मुताबिक सोने के भाव में गिरावट के साथ निवेश करने से आने वाले दिनों में आपको अच्छे रिटर्न मिल सकते है. सोना में ऊपरी स्तर से लगभग 10 फीसदी तक की गिरावट देखी गई है. ऐसे में सोने में निवेश आने वाले समय में आपको अच्छा रिटर्न दिला सकता है. बाजार के जानकारों के मुताबिक सोना दिवाली तक 60 हजार रुपये प्रति दस ग्राम तक जा सकता है. सोना खरीदने के साथ ही इसके टैक्स नियमों की जानकारी जरूरी है. सोना खरीदने पर टैक्स चुकाना पड़ता है. लेकिन, कम ही लोग जानते होंगे कि बेचने पर भी टैक्स चुकाना होता है.

सोना खरीदने पर लगता है टैक्स

डिजिटल ट्रांजेक्शन बढ़ने के बाद से लोगों ने कैश में सोना खरीदना कम किया है. डिजिटल माध्यम से भी सोना खरीदा जा सकता है. मतलब यह कि सोने की पेमेंट आप डेबिट कार्ड, क्रेडिट कार्ड और इंटरनेट बैंकिंग से कर सकते हैं. लेकिन, जीएसटी लागू होने के बाद सोना खरीदने पर ग्राहक को 3 फीसदी टैक्स चुकाना पड़ता है. यह टैक्स मेकिंग चार्ज पर भी लगता है.

बेचने पर लगेगा टैक्स

सोना खरीदने के बाद इसे बेचने पर भी टैक्स लगता है. हालांकि, वह इस बात पर निर्भर करता है कि आपने सोना कितने समय के लिए अपना पास रखा है. दरअसल, कुछ लोग लंबी अवधि और कुछ छोटी अवधि के लिए इसमें निवेश करते हैं. अगर छोटी अवधि के लिए रखा जाए तो इस पर शॉर्ट टर्म कैपिटल गेन टैक्स लगेगा और अगर लंबी अवधि के लिए सोना अपने पास रखा जाए तो लॉन्ग टर्म कैपिटल गेंस के आधार पर इसे बेचते वक्त टैक्स चुकाना होगा.

शॉर्ट टर्म कैपिटल गेंस (STCG)

अगर आप जूलरी खरीदने के 36 महीने यानी 3 साल के अंदर बेच देते हैं तो आपके मुनाफे पर शॉर्ट टर्म कैपिटल गेंस टैक्स चुकाना पड़ेगा. क्योंकि, सोने में निवेश से हुआ फायदा आपकी कुल आय में जोड़ दिया जाएगा. फिर, आप जिस टैक्स-स्लैब में आते हैं, उसके हिसाब से टैक्स चुकाना होगा.

लॉन्ग टर्म कैपिटल गेंस (LTCG)

अगर सोना खरीदकर आपने उसे तीन साल से ज्यादा अवधि के लिए अपने पास रखा तो आपको इससे हुए फायदे पर लॉन्ग कैपिटल गेंस टैक्स चुकाना होगा. वित्त वर्ष 2017-18 तक सोने की खरीद मूल्य पर इंडेक्सेशन लागू करने के बाद 20.6 फीसदी की दर से लॉन्ग टर्म कैपिटल गेंस लगता था. वित्त वर्ष 2018-19 से गेंस पर 20.8 फीसदी की दर से टैक्स लगता है.

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सोने में निवेश के लिए इन विकल्पों को पसंद कर रहे निवेशक  

सोने में निवेश करने वाले पेपर गोल्ड, गोल्ड ETF, सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड, गोल्ड म्यूचुअल फंड और डिजिटल गोल्ड को बेहतर विकल्प के तौर पर चुन रहे हैं. दरअसल इन माध्यमों से सोने में निवेश करने पर सोने को खरीदना और बेचना आसान होता है. वहीं आपको सोने की सुरक्षा की भी चिंता नहीं होती है. वहीं गोल्ड में इन माध्यमों से निवेश करने पर आपको सोने में मिलावट या अशुद्धता की चिंता नहीं होती है जिससे आपके निवेश पर बेहतर रिटर्न मिलता है.