संसदीय समिति ने दिया सुझाव- 'Startup के लिए आसान किए जाने चाहिए Tax का फायदा उठाने के नियम'
एलिजिबल स्टार्टअप्स को इनकम टैक्स के नियमों (Income Tax Rules) के तहत टैक्स का फायदा उठाने के लिए नियमों को आसान बनाया जाना चाहिए. यह सिफारिश इसलिए भी की गई है, क्योंकि तमाम आंत्रप्रेन्योर्स (Entrepreneurs) में से सिर्फ 1 फीसदी ने ही यह फायदा उठाया है.
एक संसदीय समिति ने गुरुवार को स्टार्टअप (Startup) के टैक्स नियमों (Tax Rules) को लेकर एक अहम सिफारिश की है. इसके तहत समिति ने कहा है कि एलिजिबल स्टार्टअप्स को इनकम टैक्स के नियमों (Income Tax Rules) के तहत टैक्स का फायदा उठाने के लिए नियमों को आसान बनाया जाना चाहिए. यह सिफारिश इसलिए भी की गई है, क्योंकि तमाम आंत्रप्रेन्योर्स (Entrepreneurs) में से सिर्फ 1 फीसदी ने ही यह फायदा उठाया है.
वाणिज्य विभाग से संबंधित संसद की स्थायी समिति ने आयकर अधिनियम, 1961 की धारा 80-आईएसी के कम उपयोग के बारे में चिंता जताई है. यह योग्य यानी एलिजिबल स्टार्टअप को टैक्स का फायदा उठाने का अधिकार देता है. इसे 2017 में लागू किया गया था. मौजूदा वक्त में कुल 98,119 रजिस्टर्ड स्टार्टअप हैं, जिनमें से सिर्फ 10,165 यानी 10.4 प्रतिशत ने ही इस अधिनियम के तहत आयकर छूट के लिए आवेदन किया है. इसके अलावा, अंतर-मंत्रालयी बोर्ड ने 31 मार्च, 2023 तक केवल 1,173 आवेदकों को मंजूरी दी है.
समिति ने अपनी रिपोर्ट में कहा कि इसका मतलब है कि आयकर अधिनियम, 1961 की धारा 80-आईएसी के कार्यान्वयन के 6 साल बाद भी केवल एक प्रतिशत योग्य स्टार्टअप को इस योजना के तहत टैक्स का फायदा मिला है. समिति ने कहा कि आयकर छूट का दावा करने के लिए पात्रता मानदंड में ढील दी जा सकती है, ताकि अधिक स्टार्टअप को टैक्स का फायदा मिल सके.