Microsoft नहीं... ये AI Startup दे रहा Google को चुनौती, हाल ही में पीएम मोदी ने की थी इसके फाउंडर से मुलाकात
पिछले दो सालों में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) तेजी से बढ़ा है. इस सेक्टर में गूगल (Google) और माइक्रोसॉफ्ट (Microsoft) जैसी तकनीकी दिग्गज कंपनियों का दबदबा रहा है. लेकिन अब एक नई कंपनी उभरकर सामने आई है, जो इन बड़ी कंपनियों को चुनौती देने की तैयारी कर रही है.
पिछले दो सालों में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) तेजी से बढ़ा है. इस सेक्टर में गूगल (Google) और माइक्रोसॉफ्ट (Microsoft) जैसी तकनीकी दिग्गज कंपनियों का दबदबा रहा है. लेकिन अब एक नई कंपनी उभरकर सामने आई है, जो इन बड़ी कंपनियों को चुनौती देने की तैयारी कर रही है. इस कंपनी का नाम है Perplexity AI, जिसकी शुरुआत भारतीय मूल के अरविंद श्रीनिवास ने की है. यह अपने "आंसर इंजन" के साथ गूगल के सर्च और विज्ञापन क्षेत्र में अपनी अलग पहचान बनाने की कोशिश कर रही है.
तेजी से बढ़ रहा Perplexity AI
Perplexity AI ने पिछले कुछ वक्त में हैरान कर देने वाली ग्रोथ दिखाई है. 2024 की शुरुआत में इस स्टार्टअप का वैल्युएशन 1 अरब डॉलर था, जो दिसंबर तक बढ़कर 9 अरब डॉलर हो गया, जब कंपनी ने 500 मिलियन डॉलर का फंडिंग राउंड किया था. अब तक कंपनी ने कुल 913 मिलियन डॉलर जुटाए हैं, जो कि अन्य AI स्टार्टअप्स जैसे Neeva से कहीं अधिक है. बता दें कि Neeva ने 2023 में सिर्फ $77 मिलियन की फंडिंग जुटाई थी, जो बाद में बंद भी हो गई. Perplexity के पास अभी 1.5 करोड़ से भी ज्यादा एक्टिव यूजर्स हैं. इसके साफ और डीटेल आंसर की वजह से जो लोग गूगल के विज्ञापनों से परेशान हैं, वह इसे खूब पसंद कर रहे हैं.
कितनी लगती है सब्सक्रिप्शन फीस?
Perplexity AI मौजूदा वक्त में हर महीने $20 की सब्सक्रिप्शन फीस लेता है और इसी से उसकी कमाई होती है. पहले ही साल में कंपनी ने $30 मिलियन की कमाई कर ली है. अब यह विज्ञापन के क्षेत्र में भी कदम रख रही है और गूगल के मुख्य बिजनेस में हिस्सेदारी पाने की कोशिश कर रही है.
अरविंद श्रीनिवास का मानना है कि जानकारी से भरी हुई क्वेरी (queries) यानी सर्च भविष्य में खरीदारी के फैसलों को प्रभावित करेंगी, जिससे मॉनेटाइजेशन के लिए बड़ा मौका मिलेगा. उनका कहना है, “गूगल पर लगभग 80% सर्च ऐसी होती हैं, जिनसे सीधे पैसा नहीं कमाया जा सकता.” उनका मानना है कि यूजर्स का भरोसा जीतने के लिए गैर-वाणिज्यिक सवालों पर ध्यान केंद्रित करना जरूरी है, ताकि विज्ञापन से कमाई की जा सके.
श्रीनिवास भविष्य में ऐसे विज्ञापनों की कल्पना करते हैं जो AI एजेंट्स को टार्गेट करेंगे, जो उपभोक्ताओं के फैसलों को प्रभावित करेंगे. इस तरह के विज्ञापन मॉडल से ऑनलाइन विज्ञापन की दुनिया में बड़ा बदलाव आ सकता है.
गूगल के साथ मुकाबला
वैसे तो श्रीनिवास Perplexity को गूगल के लिए सीधे खतरे के रूप में नहीं देखते, लेकिन उनका मानना है कि गूगल का सूचना को व्यवस्थित करने का तरीका भविष्य में कमजोर पड़ सकता है. गूगल का अधिकांश ट्रैफिक अब अन्य साइट्स जैसे TikTok और Facebook से आ रहा है और यह बदलाव गूगल के प्रभुत्व को चुनौती दे सकता है.
Perplexity का भविष्य
Perplexity AI का सबसे बड़ा फायदा यह है कि यह स्वतंत्र रूप से काम कर रहा है, जबकि कई अन्य स्टार्टअप्स को तकनीकी दिग्गज कंपनियां खरीद लेती हैं. Inflection AI और Character AI जैसी कंपनियों को माइक्रोसॉफ्ट और गूगल ने अपने साथ जोड़ लिया, लेकिन Perplexity ने अपनी स्वतंत्रता बनाए रखी है. कंपनी के पास मजबूत वित्तीय समर्थन और श्रीनिवास की दूरदृष्टि नेतृत्व क्षमता है, जो इसे बाजार में एक खास जगह दिला सकती है.