इस स्टार्टअप ने जुटाए 41 करोड़ रुपये, ई-रिक्शा वालों की जिंदगी बना रहा बेहतर, महिलाओं की भी हो रही मदद
दिल्ली का ईवी (इलेक्ट्रिक व्हीकल्स) फाइनेंसिंग (EV Financing) स्टार्टअप RevFin आए दिन तेजी से बढ़ रहा है. अपने बिजनेस को और बड़ा बनाने के लिए इस स्टार्टअप (Startup) ने हाल ही में US International Development Finance Corp से 5 मिलियन डॉलर यानी करीब 41.2 करोड़ रुपये की फंडिंग (Funding Alert) ली है.
दिल्ली का ईवी (इलेक्ट्रिक व्हीकल्स) फाइनेंसिंग (EV Financing) स्टार्टअप RevFin आए दिन तेजी से बढ़ रहा है. अपने बिजनेस को और बड़ा बनाने के लिए इस स्टार्टअप (Startup) ने हाल ही में US International Development Finance Corp से 5 मिलियन डॉलर यानी करीब 41.2 करोड़ रुपये की फंडिंग (Funding Alert) ली है. यह एक डेट फंडिंग (Debt Funding) है यानी कंपनी ने कर्ज के रूप में यह फंडिंग जुटाई है. इससे कंपनी को अपना बिजनेस बढ़ाने और नए-नए बाजारों का पता लगाकर वहां तक अपनी पहुंच बनाने में आसानी होगी. यह स्टार्टअप भारत में ईवी फाइनेंसिंग को तेजी से पॉपुलर कर रहा है. कंपनी की प्लानिंग है कि वह फंडिंग से मिले पैसों का इस्तेमाल करते हुए दो-पहिया इलेक्ट्रिक व्हीकल सेगमेंट में भी एंट्री करेगी.
पहले भी जुटा चुका है फंडिंग
ऐसा नहीं है कि RevFin ने पहली बार फंडिंग जुटाई है, पिछले साल भी इस स्टार्टअप ने कुछ फंड हासिल किया है. पिछले साल अक्टूबर के दौरान RevFin ने Green Frontier Capital (GFC) और LC Nueva Investment Partners से करीब 10 मिलियन डॉलर यानी करीब 82 करोड़ रुपये जुटाए थे.
क्या करता है ये स्टार्टअप?
यह एक ईवी फाइनेंसिंग कंपनी है, जो कमर्शियल फ्लीट ड्राइवर्स को लोन मुहैया कराती है. दिल्ली के इस स्टार्टअप की शुरुआत 2018 में समीर अग्रवाल ने की थी. कंपनी ने अभी तक करीब 21,800 इलेक्ट्रिक थ्री-व्हीलर्स में अपना इन्वेस्टमेंट किया है. कंपनी की प्लान है कि अगले 5 सालों में करीब 20 लाख इलेक्ट्रिक व्हीकल्स को फाइनेंसिंग की सुविधा मुहैया की जाए. कंपनी का दावा है कि उससे फाइनेंसिंग हासिल करने वालों में 24 फीसदी तो महिलाएं हैं. ईवी फाइनेंसिंग की मदद से यह स्टार्टअप उस सेगमेंट के लिविंग स्टैंडर्ड को बढ़ाने में लगा है, जो काफी समय से नजरअंदाज हो रहा था.
तगड़ा मुनाफा कमा रहा है ये स्टार्टअप
वैसे तो आज के वक्त में जब भी स्टार्टअप की बात होती है तो अधिकतर लोग मानते हैं वह मुनाफा नहीं कमा रहा होगा. अधिकतर स्टार्टअप के साथ ऐसा है भी, क्योंकि वह तेजी से मार्केट पर कब्जा करने में लगे हैं, बजाय मुनाफे के बारे में सोचने के. हालांकि, RevFin स्टार्टअप की कहानी बाकी सबसे अलग है. वित्त वर्ष 2023 में कंपनी का रेवेन्यू करीब 34 करोड़ रुपये रहा है और कंपनी की प्लानिंग है कि इस वित्त वर्ष रेवेन्यू करीब 3 गुना होते हुए 90 करोड़ रुपये के करीब पहुंच सकता है. पिछले ही साल ये स्टार्टअप मुनाफे में आ चुका है और उम्मीद की जा रही है कि इस साल कंपनी को 18-20 करोड़ रुपये मुनाफा हो सकता है.
आगे का क्या है प्लान?
समीर अग्रवाल का प्लान है कि RevFin के जरिए इस साल करीब 520 करोड़ रुपये को लोन दिया जाए. इस वित्त वर्ष के शुरुआती दो महीनों में कंपनी ने करीब 50 करोड़ रुपये का लोन दे भी दिया है. अग्रवाल कहते हैं कि भारत में ईवी सेक्टर में आगे बढ़ने की बहुत क्षमता है और साथ ही इसमें रोजगार के भी ढेरों मौके हैं. अभी तक इसमें फाइनेंसिंग के विकल्प बहुत ही सीमित थे, जिसकी वजह से इसकी ग्रोथ भी सीमित हो गई थी. मौजूदा वक्त में यह स्टार्टअप 17 राज्यों में है, लेकिन आने वाले दिनों में यह अपनी पहुंच 25 राज्यों तक बढ़ाना चाहता है. इस स्टार्टअप का अगला टारगेट गुजरात, महाराष्ट्र और हैदराबाद में दो-पहिया लीजिंग सेवाएं शुरू करना है.