महाकुम्भ से पहले प्रयागराज हो जाएगा रेलवे क्रॉसिंग से मुक्त, इन रूट्स पर होगा सात रेलवे ओवर ब्रिज का निर्माण
Mahakumbh Railway: महाकुम्भ मेले से पूर्व प्रयागराज रेलवे क्रॉसिंग से मुक्त हो जाएगा. महाकुम्भ की शुरूआत से पहले ये पूरी तरह तैयार हो जाएंगे.
Mahakumbh Railway: महाकुम्भ 2025 में श्रद्धालुओं का निर्बाध आवागमन सुनिश्चित करने की दिशा में भारतीय रेलवे ने राज्य सेतु निगम के साथ मिलकर सभी रेलवे क्रॉसिंग पर ओवर ब्रिज (आरओबी) या रोड अंडर ब्रिज (आरयूबी) का निर्माण कर लगभग पूरा कर लिया है जिससे महाकुम्भ मेले से पूर्व प्रयागराज रेलवे क्रॉसिंग से मुक्त हो जाएगा. अधिकारियों ने कहा कि प्रयागराज के रेलवे क्रॉसिंग से मुक्त होने से रेल गाड़ियों के परिचालन में सुविधा होने के साथ ही दुर्घटनाओं में भी कमी होगी ही, साथ ही शहरवासियों को घंटों के जाम से भी मुक्ति मिल जाएगी.
अंतिम चरण में है ORB और URB का निर्माण
प्रयागराज रेल मण्डल के सीनियर पब्लिक रिलेशन ऑफिसर अमित मालवीय ने बताया कि प्रयागराज शहर के अंदर ही नहीं बल्कि आस-पास के क्षेत्रों की भी लगभग सभी रेलवे क्रॉसिंग पर जरूरत के मुताबिक आरओबी या आरयूबी का निर्माण अंतिम चरण में है. महाकुम्भ की शुरूआत से पहले ये पूरी तरह तैयार हो जाएंगे. उन्होंने बताया कि बेगम बाजार, बमरौली-मनौरी, छिवकी, दीनदयाल उपाध्याय-प्रयागराज, प्रयाग-फाफामऊ और प्रयाग-प्रयागराज जंक्शन के बीच सात रेल ओवर ब्रिज का निर्माण किया जाएगा.
375 करोड़ रुपए की लागत, दो साल में खर्च किए 5000 करोड़ रुपए
अमित मालवीय ने बताया कि इन सात रेलवे ओवर ब्रिज का निर्माण लगभग 375 करोड़ रुपये की लागत से किया जा रहा है. इसके साथ ही प्रयाग यार्ड, झूंसी और अंदावा-कनिहार मार्ग पर लगभग 40 करोड़ रुपये की लागत से तीन रेल अंडर ब्रिज का निर्माण कार्य अंतिम चरण में है. महाकुम्भ से पहले ये सभी आरओबी और आरयूबी से यातायात का परिचालन शुरू हो जाएगा. गौरतलब है कि रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कहा था कि महाकुंभ तैयारियों के लिए 2 वर्षों में भारतीय रेल ने 5000 करोड़ रुपये से अधिक खर्च किए हैं.
21 रोड ओवर ब्रिज और रोड ब्रिज का किया निर्माण
प्रयागराज क्षेत्र में सुगम रेल परिचालन के लिए 21 रोड ओवर ब्रिजों और रोड अंडर ब्रिजों का निर्माण किया गया है. महाकुंभ -2025 के दौरान 3000 स्पेशल गाडियां सहित 13000 से अधिक रेल गाडियां चलायी जाएंगी जब कि गत कुम्भ मेला में 7000 गाड़ियों का संचालन किया गया था. छोटी दूरी के लिए बड़ी संख्या में मेमू ट्रेन का इंतजाम किया जा रहा है. महाकुंभ -2025 के रेगुलर गाड़ियों में दोनों तरफ इंजन लगाया जाएगा जिससे समय की बचत होगी.