खो जाए बैंक पासबुक या प्रॉपर्टी के पेपर, ये हैं वापस पाने के कुछ आसान तरीके
प्रॉपर्टी के दस्तावेज बेहद अहम होते हैं. अगर प्रॉपर्टी के दस्तावेज गुम हो जाए तो सबसे पहले पुलिस के पास शिकायत दर्ज कराएं.
आमतौर पर लोग अपने बैंक डॉक्यूमेंट, प्रॉपर्टी, इंश्योरेंस पॉलिसी, फिक्स्ड डिपॉजिट, नेशनल सेविंग सर्टिफिकेट, म्युचुअल फंड आदि से जुड़े सभी डॉक्युमेंट्स संभालकर रखते हैं. यदि इनमें से कोई भी पेपर खो जाए तो नई परेशानी पैदा हो जाती है. इन्हें किस तरह दोबारा हासिल किया जा सकता है, इसको लेकर अक्सर लोग काफी परेशान रहते हैं. हम आपको बता रहे हैं कि यदि आपके बैंक डॉक्युमेंट या अन्य जरूरी कागजात खो जाएं तो इन्हें वापस कैसे हासिल किया जा सकता है.
आइए जानते हैं क्या हैं अलग-अलग डॉक्युमेंट्स को वापस हासिल करने के तरीके...
1. कैसे मिलेंगे प्रॉपर्टी के डुप्लीकेट डॉक्युमेंट
प्रॉपर्टी के दस्तावेज बेहद अहम होते हैं. अगर प्रॉपर्टी के दस्तावेज गुम हो जाए तो सबसे पहले पुलिस के पास शिकायत दर्ज कराएं. इसके बाद दो नेशनल अखबारों में विज्ञापन दें. इसके बाद आप एफआईआर की कॉपी, अखबार में दिए हुए विज्ञापन की कटिंग को सब-रजिस्ट्रार ऑफिस में जमा कराएं. सब-रजिस्ट्रार ऑफिस में जाने के बाद आपको प्रॉपर्टी के डुप्लीकेट पेपर की एवज में लगने वाली फीस भरनी होगी. रजिस्ट्रार ऑफिस में कागजी प्रक्रिया पूरी होने के बाद प्रॉपर्टी के डॉक्युमेंट की डुप्लीकेट कॉपी आपको जारी कर दी जाएगी.
2. बैंक पासबुक खो जाने पर पाने के उपाय
बैंक पासबुक खो जाने या गुम हो जाने पर डुप्लीकेट पासबुक के लिए सबसे पहले बैंक को सूचित किया जाता है. डुप्लीकेट पासबुक के लिए बैंक में आवेदन दें. आवेदन का एक तय फारमेट होता है, जिसमें आपको अपने खाता और पर्सनल जानकारी देनी होती है. डुप्लीकेट पासबुक जारी करने में कई बैंक मामूली शुल्क भी लेते हैं तो कई बैंक बिना शुल्क लिए ही डुप्लीककेट पासबुक दोबारा इश्यू कर देते हैं. वहीं, कई सरकारी बैंक डुप्लीकेट पासबुक इश्यू करने के लिए एफआईआर की कॉपी भी मांगते हैं. हालांकि, यह अनिवार्य नहीं है. इसके बाद बैंक आपका डुप्लीकेट पासबुक जारी कर देता है.
3. इन्श्योरेंस पॉलिसी के डुप्लीकेट पेपर
इन्श्योरेंस पॉलिसी के डुप्लीकेट दस्तावेज प्राप्त करने के लिए आपको इन्श्योरेंस कंपनी में डुप्लीकेट पेपर के लिए आवेदन करना होगा. इन्श्योरेंस कंपनी डुप्लीकेट पेपर इश्यू करने से पहले आपसे गैर अदालती स्टाम्प पत्र पर इन्श्योरेंस पॉलिसी वाले व्यक्ति की जानकारी लेती है. इसके साथ एक आवेदन पत्र भरना होता है, जिसमें इन्श्योरेंस लेने वाले व्यक्ति से जुड़ी तमाम जानकारियां जैसे पॉलिसी नंबर, पॉलिसी इश्यू करने का स्थान, तिथि आदि की जानकारी देनी होती है. इसके बाद बीमा कंपनी इन पेपरों के आधार पर आपको डुप्लीकेट पेपर जारी करती है.
4. नेशनल सेविंग सर्टिफिकेट के डुप्लीकेट पेपर
नेशनल सेविंग सर्टिफिकेट (एनएससी) के पेपर गुम हो जाने पर डुप्लीकेट पेपर पाने की प्रक्रिया थोड़ी जटिल है. सबसे पहले आपको एक शिकायत पुलिस थाने में देनी होगी. इसके बाद स्टांप पेपर पर एक बांड बनना होगा जिसमें पेपर खोने की पूरी जानकारी भरनी होगी. एक हिन्दी और एक अंग्रेजी पेपर में एनएससी पेपर गुम होने का विज्ञापन देना होगा. फिर एक गारंटर को प्रस्तुत करना होगा, जो आपको जानता है. इन सभी प्रक्रियाओं को अपनाने के बाद एनएससी का डुप्लीकेट आपको मिल जाएंगे.
5. म्युचुअल फंड का डुप्लीकेट पेपर
म्युचुअल फंड में निवेश के डुप्लीकेट पेपर प्राप्त करने के लिए आपको एसेट मैनेजमेंट कंपनी के पास आवेदन देना होगा. इसके बाद एएमसी आपसे बैंक डिटेल, पर्सनल जानकारी निवेश खाता नंबर मांगेगा. पैन कार्ड की एक कॉपी भी जमा करानी होगी. इसके बाद एएमसी आपको दस्तावेज मुहैया कराएगा. साथ ही दस्तावेज की एक कॉपी आप आपके रजिस्टर्ड ईमेल पर भेज दी जाएगी.
यहां जानिए डॉक्युमेंट्स खोने की टेंशन से कैसे रहें दूर
डिजिटल युग में खुद को हाईटेक रखने के साथ ही इलेक्ट्रॉनिक फॉरमेट का इस्तेमाल करना भी जरूरी है. इससे डॉक्युमेंट खोने या गुम होने की टेंशन नहीं. डॉक्युमेंट्स को इलेक्ट्रॉनिक फॉरमेट में सेफ रखा जा सकता है. सभी सर्विस प्रोवाइडर कंपनी निवेश के डॉक्युमेंट्स को इलेक्ट्रॉनिक फॉरमेट में रखने की सुविधा देती हैं. इसके और भी कई फायदे हैं. जैसे एड्रेस बदलना, बैंक अकाउंट बदलना या नॉमिनी का नाम आप सीधे बदल सकते हैं. इन कामों के लिए कोई पेरशानी नहीं होगी. इसके अलावा यदि आपके पास पहले से हार्ड कॉपी है, तो इसको स्कैन कर आप अपने ईमेल पर भी सुरक्षित रख सकते हैं.