ITR Filing: कई बार ऐसा होता है कि जब हम आईटीआर फाइल करना चाहते हैं तो हमारे पास सारे डॉक्यूमेंट्स नहीं होते हैं. इस वजह से हमें बीच में ही प्रोसेस छोड़ना पड़ता है और बाद में फाइल करना ही भूल जाते हैं. लेकिन अब इसके लिए विभाग ने एक नया तरीका निकाला है. जिसके जरिए आपको रिमाइंडर आएगा जिसमें आईटीआर फाइलिंग के लिए कहा जाएगा. विभाग ऐसे लोगों को सूचना भेज कर बता रहा है कि उसकी फाइलिंग कहां अटकी है और कितना भरा गया है. आयकर विभाग दे रहा बड़ी सुविधा कई बार हम अपना रिटर्न फाइल करना बीच में छोड़ देते हैं. वजह कई सारे होते हैं कभी जरूरी कागजात नहीं मिल पाता, कभी सर्वर डाउन होता है कभी साइट हैंग हो जाती है. कई बार ऐसे केस भी सामने आते हैं कि ड्यू डेट समाप्त हो जाने के बाद लोग आलस में आईटीआर रिटर्न नहीं करते हैं. ऐसे में अब आयकर विभाग इन लोगों को मेसेज भेज कर अलर्ट कर रहा है.

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आईटीआर को वेरीफाई आप कई तरीकों से आईटीआर वेरिफाई कर सकते हैं. इसके लिए आप आधार ओटीपी का इस्तेमाल करके या फिर बैंक खाते, नेट बैंकिंग या डीमैट खाते के माध्यम से उत्पन्न ईवीसी का उपयोग करके आईटीआर को वेरीफाई कर सकते हैं. इसके अलावा डिजिटल हस्ताक्षर प्रमाणपत्र (डीएससी) का उपयोग करके भी इसे वेरीफाई किया जा सकता है. क्यों जरूरी है आईटीआर भरना जरूरी जो लोग इनकम टैक्स के दायरे में आते हैं उन्हें ITR भरना अनिवार्य है. इसके तहत जिसकी आय सलाना 2.5 लाख रुपये से अधिक होती है उन्हें आयकर रिटर्न जरूर भरना चाहिए.आयकर अधिनियम के तहत वरिष्ठ नागरिकों के लिए छूट की सीमा 3 लाख रुपये और अति वरिष्ठ नागरिकों के लिए 5 लाख रुपये तय किया गया है, यानी इसके ऊपर आय होने पर आपको टैक्स भरना अनिवार्य हो जाता है. अगर कहीं आपका टीडीएस कट रहा है तो भी आपको आयकर भरना जरूरी है. ITR फाइलिंग के बाद आईटीआर को वेरीफाई करना भी जरूरी होता है. ITR फाइल नहीं करने पर कैसे लगेगा जुर्माना अगर आप फाइनेंशियल 2021-22 के लिए अपना इनकम रिटर्न फाइल करने की तारीख से चूक जाते हैं, तो आपको पेनल्टी, ब्याज और जेल तक भी जाना पड़ सकता है.

  1. तय तारीख के बाद ITR फाइल करने पर 5000 रुपये तक की लेट फीस
  2. सेक्‍शन 234A, 234B और 234C के अंतर्गत ब्याज
  3. लॉस को कैरी फॉर्वर्ड नहीं कर पाएंगे
  4. कुछ मानकों को पूरा नहीं करने पर जेल का प्रावधान

जानें क्या है तरीका 

  • आप पर जो भी श्रेणी लागू होती है, उसको सेलेक्ट करें और फिर 'जारी रखें' के ऑप्शन को चुनें.
  •  इनकम टैक्स रिटर्न के प्रकार में से आपको एक चुनना होगा. आपको दो ऑप्शन्स दिखाई देंगे, पहला- अगर आप कॉन्फिडेंट नहीं हैं कि आपको कौन सा आईटीआर फाइल करना है तो 'मुझे यह तय करने में मदद करें कि कौन सा आईटीआर फाइल करना है' ऑप्शन को सिलेक्ट करें और आगे बढ़ें.
  • अगर आपको पता है कि आपको कौन सा आईटीआर रिटर्न फाइल करना है दो दूसरा, 'मुझे पता है कि कौन सा आईटीआर फॉर्म दाखिल करना है' ऑप्शन को चुनें और ड्रॉपडाउन मेनू में दिए ऑप्शन्स में से आईटीआर फॉर्मैट को सिलेक्ट करें और फिर 'आगे बढ़ें'.

ऐसे पूरा होगा ITR फाइलिंग प्रोसेस

  • सभी जरूरी डॉक्यूमेंट्स की लिस्ट तैयार कर लें और फिर ITR भरें पर क्लिक करें.
  • स्क्रीन पर कुछ सवाल आएंगे, उनका जवाब अपने हिसाब से दें और फिर 'जारी रखें' के ऑप्शन को चुनें.
  • जरूरी आंकड़े भरें और हर सेक्शन के बाद दिए गए 'कन्फर्म' ऑप्शन पर क्लिक करें.
  • आपकी आय कितनी है और कटौती के आंकड़े क्या हैं, ये अलग-अलग भरें और किसी भी सेक्शन को अधूरा न छोड़ें.
  • अगर टैक्स लायबिलिटी है तो उसके भुगतान के लिए ऑप्शन चुनें और अगर ऐसा नहीं है तो 'प्रीव्यू रिटर्न' को सेलेक्ट करें.
  • अगर टैक्स कैलकुलेशन के बेसिस पर कोई रिफंड है तो आपको पिछले पेज पर वापस ले जाया जाएगा.
  • ये करने के बाद 'प्रीव्यू और रिटर्न जमा करें' के पेज पर 'स्थान' के ऑप्शन भरें, फिर डिक्लेरेशन चेकबॉक्स पर टिक करें और 'वैलिडेशन के लिए आगे बढ़ें' को चुनें.
  • वेरीफिकेशन के बाद 'रिटर्न जमा करें' ऑप्शन पर 'वेरिफाइ के लिए आगे बढ़ें' पर क्लिक करें और फिर जो पेज खुलेगा, उसपर अपनी पसंद से ऑप्शन चुनें और आगे बढ़ें.  

ऐसे स्टेटस करें चेक आपकी इनकम टैक्स फिलिंग पूरी हो जाएगी. इसके बाद स्क्रीन पर आने वाले ट्रांजैक्शन आईडी और एकनॉलेजमेंट नंबर को नोट करके रख लें ताकी आप फिलिंग का स्टेटस चेक कर सकें.