Home Loan: अगर आप घर खरीदना चाहते हैं, लेकिन आपके पास आय के प्रूफ जैसे इनकम टैक्स रिटर्न या सैलेरी स्लिप नहीं हैं, तो भी आपके लिए होम लोन का रास्ता खुल सकता है. देश के प्रमुख सरकारी बैंक बिना आमदनी के सामान्य दस्तावेज़ वाले लोगों को होम लोन देने पर विचार कर रहे हैं. इस योजना में आमदनी परखने के लिए कुछ नए तरीकों का इस्तेमाल किया जाएगा.

नई योजना कैसे काम कर सकती है?

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सरकारी बैंक अब होम लोन लेने वालों की आय परखने के लिए नए तरीकों पर विचार कर रहे हैं. उदाहरण के तौर पर, अगर कोई स्ट्रीट वेंडर है, तो उसकी QR कोड के जरिए हुई कमाई को उसकी आमदनी माना जा सकता है. इसके अलावा, औसत बिलिंग से भी उसकी आय का अनुमान लगाया जा सकता है.

योजना का उद्देश्य और प्रधानमंत्री आवास योजना

यह योजना ऐसे समय में बनाई जा रही है जब प्रधानमंत्री आवास योजना (PMAY) 2024 के तहत 3 करोड़ घर बनाने की मंजूरी दी गई है. PMAY के तहत झुग्गी में रहने वालों का पुनर्वास, आर्थिक रूप से कमजोर वर्गों और मध्यम आय वर्ग के लोगों के लिए ब्याज में छूट वाली योजनाएं और सस्ते घर उपलब्ध कराना शामिल है.

बिना आमदनी प्रूफ वालों के लिए क्यों है राहत?

आमतौर पर जिनके पास अपनी आय के दस्तावेज़ नहीं होते, वे गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियों (NBFCs) से लोन लेते हैं, जो बैंकों की तुलना में 1.5-2% ज्यादा ब्याज लेते हैं. इस योजना के तहत सरकारी बैंक सस्ती आवास योजना में शामिल होकर ऐसे लोगों को कम ब्याज पर लोन दे सकेंगे. हालांकि, बैंकों को अभी तक आयकर रिटर्न और बैंक स्टेटमेंट जैसे दस्तावेज़ चाहिए होते थे.

फील्ड में जाकर हो सकता है आमदनी का आकलन ?

कई सरकारी बैंक विचार कर रहे हैं कि वे फील्ड में जाकर लोगों की आय का आकलन कर सकते हैं और होम लोन सैंक्शन कर सकते हैं. Indian Banks Association की एक हाल की बैठक में कई बैंकरों ने सुझाव दिया कि जिन मामलों में आय के दस्तावेज़ नहीं हैं, उनके लिए सरकार आंशिक गारंटी दे.

छोटे कारोबारियों के लिए बड़ी राहत

अगर सरकारी बैंक बिना आमदनी के दस्तावेज़ वाले होम लोन मंज़ूर करते हैं, तो यह छोटे कारोबारियों और असंगठित क्षेत्र के लोगों के लिए बहुत बड़ी राहत होगी.