Cryptocurrency: निवेश, कानून, टैक्स, रिस्क क्या है? HOLD करें या बेचें? जानें मन में चल रहे सभी सवालों के जवाब
Cryptocurrency latest news: क्रिप्टोकरेंसी को लेकर दुनियाभर में हल्ला मचा है. कुछ देशों में इसे लीगल टेंडर माना है. वहीं, कहीं पूरी तरह से बैन है. हालांकि, कुछ देश ऐसे भी हैं, जहां इस पर कोई सफाई नहीं है. अब भारत में इसको लेकर रेगुलेशन तैयार होने हैं.
Cryptocurrency: केंद्र सरकार की क्रिप्टोकरेंसी पर शिकंजा कसने की तैयारी है. खबर के बाद से ज्यादातर क्रिप्टोकरेंसी का भाव गिर गए हैं. क्रिप्टोकरेंसी (Cryptocurrency) के लिए सरकार 29 नवंबर से शुरू होने जा रहे संसद के शीतकालीन सत्र में क्रिप्टोकरेंसी को रेगुलेट (Regulation on Cryptocurrency) करने वाला विधेयक पेश करेगी. बिल (Cryptocurrency bill) में सभी तरह की प्राइवेट क्रिप्टोकरेंसी (Private Cryptocurrency) पर पाबंदी लगाने की बात कही गई है.
RBI को मिलेगी डिजिटल करेंसी का फ्रेमवर्क
क्रिप्टोकरेंसी टेक्नोलॉजी (Cryptocurrency technologies) को बढ़ावा देने के लिए सरकार कुछ ढील भी दे सकती है. हालांकि, किने क्रिप्टोकरेंसी में ढील दी जाएगी ये साफ नहीं है. वहीं, बिल की मदद से रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (Reserve Bank of India) को अपनी आधिकारिक डिजिटल करेंसी (Digital Currency) जारी करने के लिए सुविधाजनक फ्रेमवर्क मिलेगा.
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क्रिप्टो में अभी तक क्या हुआ?
क्रिप्टोकरेंसी के रेगुलेशन (Cryptocurrency regulations) के लिए संसद में बिल लाएगी सरकार. बिल में प्राइवेट क्रिप्टोकरेंसी (Private Cryptocurrency) पर पाबंदी लगाने की चर्चा है. कुछ अपवादों को छोड़कर निजी क्रिप्टोकरेंसी पर प्रतिबंध लगना तय है. RBI अपनी खुद की डिजिटल करेंसी (Digital Currency) जारी करेगा. दूसरे देशों में देखें तो अमेरिका (US), यूरोप समेत कई बड़े देशों में फिलहाल क्रिप्टो को लेकर कोई रेगुलेशन नहीं है.
क्रिप्टो को कानूनी दर्जा कहां?
El Salvador, क्यूबा और यूक्रेन में क्रिप्टो के लिए अलग कानून है. दुनिया में केवल El Salvador में क्रिप्टोकरेंसी लीगल टेंडर (Cryptocurrency legal tender) है. IMF ने El Salvador में क्रिप्टो को लीगल करेंसी इस्तेमाल करने पर आपत्ति जताई थी. वहीं, क्रिप्टोकरेंसी पर चीन, इंडोनेशिया, Egypt में पूरी तरह से बैन है. वियतनाम, रूस, ईरान और तुर्की में क्रिप्टो पर आंशिक रूप से बैन किया गया है.
भारत में क्रिप्टो मार्केट का हाल
- भारत में दुनिया के सबसे ज्यादा क्रिप्टो निवेशक है.
- भारत में 10 करोड़ से ज्यादा लोगों के पास क्रिप्टोकरेंसी है.
- भारत की 7% से ज्यादा जनसंख्या के पास क्रिप्टोकरेंसी मौजूद.
- भारत में क्रिप्टोकरेंसी में 7 लाख करोड़ रुपए से ज्यादा का निवेश.
- क्रिप्टो में निवेश करने वालों की औसतन उम्र 24 साल.
- 60% क्रिप्टो निवेशक टियर II और टियर III शहरों से हैं.
- भारत में छोटे एक्सचेंज के अलावा 16 एक्सचेंज पर क्रिप्टो ट्रेडिंग होती है.
- 65% लोगों ने पहले इन्वेस्टमेंट के तौर पर क्रिप्टो में निवेश किया है.
भारत Vs ग्लोबल
दुनियाभर में क्रिप्टो निवेशकों की संख्या
देश निवेशक
भारत 10 करोड़
अमेरिका 2.74 करोड़
रूस 1.74 करोड़
नाइजीरिया 1.3 करोड़
भारत Vs ग्लोबल
- भारत में 16 एक्सचेंजेज, दुनिया में 308 एक्सचेंज.
- कुल 10 हजार से ज्यादा क्रिप्टो करेंसी.
क्रिप्टो के एक्सचेंज
एक्सचेंज (प्रतिदिन वॉल्यूम $)
BINANCE $35 अरब
OKEx $10 अरब
COINBASE $7.4 अरब
KRAKEN $1.47 अरब
BITFINEX $1.04 अरब
WAZIRX $27.5 करोड़
COINDCX $11.2 करोड़
ZEBPAY $3.6 करोड़
क्रिप्टो में निवेश पर खर्च
- हर एक्सचेंज पर चार्जेज अलग-अलग.
- प्रति ट्रेड 0.5-1% की फीस.
- बैंक से वॉलेट में पैसे डालने पर 5-20 रुपए फीस.
- पैसे निकलने के लिए भी देनी होती है फीस.
- AMC फीस 30-300 रुपए प्रति महीने.
क्रिप्टो पर कानून
- 2020 में सुप्रीम कोर्ट ने RBI के प्रतिबंध को हटाया.
- भारत में क्रिप्टो अवैध नहीं.
- बैंक क्रिप्टो खरीदने-बेचने से इनकार नहीं कर सकते.
RBI की चिंता
- क्रिप्टोकरेंसी के चलते इकोनॉमी में अस्थिरता संभव.
- क्रिप्टो का असर महंगाई और फॉरेक्स पर संभव.
- RBI का जल्द डिजिटल करेंसी लाने का प्रस्ताव.
सरकार क्यों ला रही है रेगुलेशन?
- निवेशकों के निवेश की सुरक्षा जरूरी.
- क्रिप्टो से जुड़े भ्रामक विज्ञापनों पर रोक जरूरी.
- टेरर फंडिंग, हवाला में क्रिप्टो का इस्तेमाल.
- क्रिप्टो पर रोक संभव नहीं, लेकिन रेगुलेशन जरूरी: स्थायी समिति.
- PM मोदी की तमाम देशों से अपील, गलत हाथों में ना जाए क्रिप्टो.
- RBI और SEBI भी क्रिप्टो के गलत इस्तेमाल को लेकर चिंतित.
क्रिप्टो के क्या हैं पॉजिटिव?
- नए जमाने की एसेट क्लास.
- नई टेक्नोलॉजी पर बना है.
- सरकार या रेगुलेटर का कोई हस्तक्षेप नहीं.
- लेनदेन में प्राइवेसी.
क्रिप्टो के क्या हैं निगेटिव?
- सरकार या सेंट्रल बैंक का कोई कंट्रोल नहीं.
- गलत कामों में इस्तेमाल की आशंका.
- फ्रॉड और स्कैम के कई मामले.
- बहुत ज्यादा उतार-चढ़ाव.
- ट्रांजैक्शन चार्ज बहुत ज्यादा.
किन बातों पर साफ नियम बनाने की जरूरत
1. किसे पब्लिक या किसे प्राइवेट क्रिप्टो माना जाए?
2. क्या सिर्फ लेनदेन पर लगेगी रोक या निवेश पर भी?
3. जिनके पास क्रिप्टो है उनका क्या होगा?
4. क्रिप्टो को कौन रेगुलेट करेगा?
5. सरकार क्रिप्टो को क्या मानेगी, लेनदेन की करेंसी या निवेश के लिए एसेट?
6. टैक्स कितना लगेगा?
टैक्स कितना लगेगा?
- शॉर्ट टर्म और लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन्स टैक्स?
- GST?
- STT?
- कोई टैक्स नहीं?