CPI Data: लगातार दो महीने राहत के बाद देश में खुदरा महंगाई में एक बार फिर तेजी देखी गई है. सरकार द्वारा सोमवार को जारी आंकड़ों के अनुसार, खाने-पीने की चीजों की कीमतों में तेज बढ़ोतरी के कारण सितंबर में उपभोक्ता मूल्य आधारित खुदरा महंगाई की दर (CPI) बढ़कर 5.49 प्रतिशत पर पहुंच गई. यह पिछले साल दिसंबर के बाद का उच्चतम स्तर है. वहीं, खाद्य पदार्थों की महंगाई दर 9.24 प्रतिशत दर्ज की गई. 

CPI Data: सब्जियों के दाम में 36 फीसदी का आया उछाल, दाल 9.81 फीसदी महंगी 

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राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय (एनएसओ) द्वारा जारी खुदरा महंगाई के आंकड़ों के अनुसार, सितंबर में सब्जियों के दाम एक साल पहले की तुलना में 36 फीसदी बढ़े. दालों और उनके उत्पादों के दाम भी 9.81 प्रतिशत बढ़े. इस दौरान, फल 7.65 प्रतिशत और अनाज 6.84 फीसदी महंगे हुए. अंडों के दाम भी 6.31 फीसदी बढ़े.  हालांकि, मसालों में 6.13 प्रतिशत की गिरावट देखी गई.  सितंबर में स्वास्थ्य सेवाएं भी 4.09 फीसदी महंगी हो गईं. हालांकि, ईंधन एवं बिजली वर्ग की महंगाई दर शून्य से 1.39 प्रतिशत कम रही. 

CPI Data: ग्रामीण महंगाई दर 4.16 फीसदी से बढ़कर 5.87 फीसदी

ब्यूटी और कॉस्मेटिक की महंगाई दर नौ फीसदी रही. ग्रामीण महंगाई दर 4.16 फीसदी से बढ़कर 5.87 फीसदी (MoM) हो गई है. वहीं, मासिक आधार पर शहरी महंगाई दर 3.14 फीसदी से बढ़कर 5.05 फीसदी हो गई है. कपड़ा, जूता की महंगाई 2.72 फीसदी से घटकर 2.71 फीसदी (MoM) है. हाउसिंग महंगाई दर 2.66 फीसदी से बढ़कर 2.78 फीसदी (MoM) है. जुलाई में खुदरा महंगाई दर घटकर 3.60 प्रतिशत और अगस्त में 3.65 प्रतिशत पर रही थी. दोनों महीने में खाद्य महंगाई दर भी छह फीसदी से नीचे रही थी.

CPI Data: आरबीआई ने नीतिगत दरों में नहीं किया था बदलाव  

रिजर्व बैंक ने पिछले सप्ताह महंगाई फिर बढ़ने की आशंका जाहिर करते हुए रेपो दर तथा दूसरी नीतिगत दरें न घटाने का फैसला किया था. रिजर्व बैंक ने मौद्रिक नीति समिति (एमपीसी) के फैसले की घोषणा करते हुए कहा था कि जब तक खुदरा महंगाई स्थायी रूप से कम नहीं हो जाती नीतिगत दरों में कटौती नहीं की जाएगी. भारतीय रिजर्व बैंक को खुदरा मुद्रास्फीति दो प्रतिशत घट-बढ़ के साथ चार प्रतिशत पर रखने की जिम्मेदारी मिली हुई है. 

(एजेंसी इनपुट के साथ)