e-Kisan Upaj Nidhi: खाद्य एवं उपभोक्ता मामलों के मंत्री पीयूष गोयल (Piyush Goyal) ने किसानों (Farmers) को रजिस्टर्ड गोदामों में रखी उनकी उपज के बदले लोन हासिल करने की सुविधा देने के लिए एक डिजिटल प्लेटफॉर्म पेश किया. इस मौके पर उन्होंने कहा कि इससे किसान समुदाय की आय बढ़ाने में मदद मिलेगी और खेती की ओर रुझान बढ़ेगा. मंत्री ने यह भी घोषणा की कि भांडागारण विकास एवं विनियामक प्राधिकरण (WDRA) जल्द ही गोदाम मालिक के लिए सुरक्षा जमा राशि को मौजूदा भंडार मूल्य 3% से घटाकर 1% कर देगा. 

COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

गोयल ने एक कार्यक्रम में 'ई-किसान उपज निधि' (e-Kisan Upaj Nidhi) नामक डिजिटल गेटवे पेश किया. इसका मकसद किसानों को डब्ल्यूडीआरए (WDRA) रजिस्टर्ड गोदामों में रखे भंडार पर बैंकों से लोन लेने की सुविधा प्रदान करना है. लोन,  इलेक्ट्रॉनिक विक्रेय भंडारण रसीद (e-NWRs) के आधार पर प्रदान किए जाते हैं. इस समय डब्ल्यूडीआरए के तहत 5,500 से अधिक पंजीकृत गोदाम हैं. दूसरी ओर कृषि गोदामों की कुल संख्या लगभग 1 लाख होने का अनुमान है. 

ये भी पढ़ें- MSP पर गेहूं बेचने का आखिरी मौका, मप्र सरकार ने 6 मार्च तक बढ़ा दी रजिस्ट्रेशन की तारीख

बिना किसी गारंटी के 7% ब्याज दर लोन

मंत्री ने किसानों की आय (Farmers Income) बढ़ाने के लिए प्रौद्योगिकी का इस्तेमाल कर भारतीय कृषि को आधुनिक बनाने पर जोर दिया. गोयल ने कहा कि इस गेटवे की पेशकश के साथ किसानों को बिना किसी गारंटी के 7% ब्याज दर पर आसानी से लोन मिलेगा.  

गोयल ने इस बात पर बल दिया कि 'ई-किसान उपज निधि' और ई-एनएएम (e-NAM) के साथ, किसान एक इंटरकनेक्टिड मार्केट की प्रौद्योगिकी का उपयोग करने में सक्षम होंगे, जो उन्हें न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) पर या उससे ज्यादा दाम पर अपनी उपज को सरकार को बेचने का फायदा पहुंचाती है। उन्होंने कहा कि पिछले दशक में एमएसपी के जरिए सरकारी खरीद 2.5 गुना बढ़ी है.