आर्थिक संकट से जूझ रहे पाकिस्तान (Pakistan) को एक के बाद एक लगातार चोट लग रही हैं. कंगाली, तंगहाली, महंगाई और पैसे के लिए मोहताज पाकिस्तान का हालात शायद ही सुधरेंगे. हालात ये हो गए हैं कि खुद मुस्लिम देशों ने पाकिस्तान से किनारा करना शुरू कर दिया है. सऊदी अरब (Saudi Arabia) ने पिछले कुछ सालों में लाखों पाकिस्तानियों को अपने देश से बाहर कर दिया है.

COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी (Shah Mahmood Qureshi) ने संसद में कहा कि सऊदी अरब ने बीते पांच सालों के दौरान कई अपराधों और अवैध गतिविधियों के सिलसिले में कुल 2,85,980 पाकिस्तानियों को वापस भेजा है .

कुरैशी ने उच्च सदन सीनेट (Senate) में उन पाकिस्तानियों की एक सूची सौंपी जिन्हें बीते पांच सालों में सऊदी अरब से वापस भेजा गया. एक सांसद द्वारा उठाए गए सवाल पर कुरैशी ने सीनेट में यह संख्या बताई.

उन्होंने बताया कि इनमें से 61,076 लोगों को रियाद (Riyadh) से वापस भेजा गया था जबकि 2,24,904 लोगों को जेद्दा (Jeddah) से वापस किया गया था.

सूची के मुताबिक, 2,85,980 पाकिस्तानियों को 2015 और 2019 के बीच रियाद और जेद्दा (Jeddah) से वापस भेजा गया.

ज़ी बिज़नेस LIVE TV देखें:

बता दें कि पाकिस्तान अंदरूनी परेशानियों के चलते लगातार टूट रहा है. अब बताया जा रहा है कि यहां कपास का उत्पादन बहुत कम हो गया है. पाकिस्तानी मीडिया में प्रकाशित रिपोर्ट के मुताबिक, बीते वर्ष में कपास की पैदावार में रिकॉर्ड गिरावट देखने को मिली है. रिपोर्ट के मुताबिक, कपास के बीज पर उचित ध्यान नहीं देने की वजह से ऐसा हुआ है. इमरान खान सरकार की निगाहें इस बात पर टिकीं थीं कि कपास के एक्सपोर्ट से विदेशी मुद्रा में कमाई होगी और इससे IMF का कर्ज चुकाने में थोड़ी मदद मिलेगी. लेकिन, ऐसा नहीं हुआ. पाकिस्तान की इस आखिरी उम्मीद को झटका लगा है.