Moon Mission Rocket Launch: NASA के Moon Mission अपने दूसरे लॉन्च के दौरान फिर फ्यूल लीक के कारण फेल हो गया. वैज्ञानिकों की लाख कोशिशों के बाद भी इस लीक को रोका नहीं जा सका. जिसके बाद इस मिशन को टाल दिया गया.  इससे पांच दिन पहले भी फ्यूल लीक होने की वजह से इस मिशन को तय तारीख से आगे के लिए बढ़ा दिया गया था. प्रोजेक्शन डायरेक्टर चार्ली ब्लैकवेल-थॉम्पसन और उनकी टीम ने तीन से चार घंटे के असफल प्रयास के बाद आखिरकार उलटी गिनती बंद कर दी. अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा ने इस बारे में अभी कुछ नहीं कहा है कि अगला प्रयास कब किया जा सकता है.

मानव मिशन के लिए टेस्ट फ्लाइट ये भविष्य में चांद पर भेजे जाने वाले मानव मिशन के लिए एक टेस्‍ट फ्लाइट है. नासा ने बताया कि पहला मानव मिशन आर्टेमिस-3 के जरिये भेजा जाएगा जिसमें कम से कम एक महिला होगी और संभव है कि अंतरिक्ष यात्री अश्वेत हों. नासा का आर्टेमिस-1 मिशन करीब आधी सदी के बाद मनुष्यों को चंद्रमा की यात्रा करके वापस लाने के एक महत्वपूर्ण कदम है. इस मिशन को 29 अगस्त 2022 को रवाना किया जाना है और नासा की अंतरिक्ष प्रक्षेपण प्रणाली और ओरियन क्रू कैप्सूल के लिए यह महत्वपूर्ण यात्रा होने वाली है. अंतरिक्ष यान में लगे दो रॉकेट बूस्टर आर्टेमिस-1 नयी अंतरिक्ष प्रक्षेपण प्रणाली की पहली उड़ान होगी. यह ‘हेवी लिफ्ट’ (भारी वस्तु कक्षा में स्थापित करने में सक्षम) रॉकेट है. इसमें अब तक प्रक्षेपित रॉकेटों के मुकाबले सबसे शक्तिशाली इंजन लगे हैं. यहां तक कि यह रॉकेट वर्ष 1960 एवं 1970 के दशक में चंद्रमा पर मनुष्यों को पहुंचाने वाले अपोलो मिशन के सैटर्न पंचम प्रणाली से भी शक्तिशाली है. इसके मुख्य इंजन दोनों तरल ऑक्सीजन और हाइड्रोजन प्रणाली का सम्मिश्रण है, साथ ही अंतरिक्ष यान से प्रेरणा लेकर दो ठोस रॉकेट बूस्टर भी लगे हैं. यह वास्तव में अंतरिक्ष यान (स्पेस शटल) और अपोलो के सैटर्न पंचम रॉकेट को मिलाकर तैयार हाइब्रिड स्वरूप है.