International Yoga Day 2023: फिट रहने के लिए महिलाओं को जरूर करने चाहिए ये 5 योगासन
International Yoga Day 2023 5 Best Yoga Asanas for Women: आज भारत समेत दुनियाभर में योग उत्सव मनाया जा रहा है. इस मौके पर नेचुरोपैथी और योग विशेषज्ञ डॉ. रमाकान्त शर्मा से जानिए उन योगासनों के बारे में जो महिलाओं की फिटनेस के लिए बेहद जरूरी हैं.
Yoga Asanas for Women: आज भारत समेत दुनियाभर में योग उत्सव (Yoga Festival) मनाया जा रहा है. देश के तमाम हिस्सों में योग के उपलक्ष्य में कार्यक्रमों का आयोजन किया गया. इस मौके पर तमाम मंत्री से लेकर नामी हस्तियां शामिल हुईं. ये पहली बार है जब योग दिवस के मौके पर पीएम नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) संयुक्त राष्ट्र (United Nation) के मुख्यालय से योग करेंगे. योग दिवस मनाने का मुख्य उद्देश्य योग के प्रति लोगों को जागरुक करना है क्योंकि योग को प्राचीन काल से शारीरिक और मानसिक रूप से स्वस्थ रहने का बेहतरीन साधन माना जाता रहा है. आइए आज योग दिवस के मौके पर नेचुरोपैथी और योग विशेषज्ञ डॉ. रमाकान्त शर्मा से जानते हैं उन योगासनों के बारे में जो महिलाओं की फिटनेस के लिए बेहद जरूरी हैं.
पवनमुक्तासन
ये आसन महिलाओं के लिए बेहद फायदेमंद है. इससे शरीर के इंटरनल ऑर्गन से जुड़ी परेशानियां दूर होती हैं. एसिडिटी, कब्ज आदि पेट की तमाम समस्याओं से राहत मिलती है. ये पेट की चर्बी को कम करने में मददगार होता है और महिलाओं की तमाम समस्याओं में लाभकारी है. इससे स्पाइन की फ्लेक्सिबिलिटी बेहतर रहती है.
बटरफ्लाई
इसे तितली आसन भी कहा जाता है. बटरफ्लाई पोज हिप्स और थाइज को खोलने में मदद करता है और लचीलेपन में सुधार करता है. ये रिप्रोडक्टिव और डाइजेस्टिव ऑर्गन के लिए काफी अच्छा माना जाता है. ये आसन तनाव और थकान को दूर करता है.
भुजंगासन
आजकल महिलाओं में कमर में दर्द, अकड़न की समस्या काफी देखने को मिलती है. इसके अलावा तनाव व थकान की समस्या बनी रहती है. इन परेशानियों को दूर करने में भुजंगासन को मददगार माना जाता है. इसके अलावा भुजंगासन प्रजनन प्रणाली में सुधार करता है और छाती और फेफड़ों, कंधों और पेट की मांसपेशियों को फैलाने का काम करता है.
मर्कटासन
ये आसन रीढ़ की हड्डी में लचीलापन लेकर आता है. पसलियों और फेफड़ों के लिए काफी लाभकारी माना जाता है. इसे करने से पेट से जुड़ी तमाम समस्याएं दूर होती हैं. दिमाग शांत होता है और तनाव दूर होता है. महिलाओं की गर्भाशय से जुड़ी समस्याओं को दूर करने में असरकारी माना जाता है.
सेतुबंधासन
रीढ़ की हड्डी को मजबूत बनाने के साथ सेतुबंधासन छाती, गर्दन, और रीढ़ की हड्डी में खिचाव लाता है. दिमाग को शांत करता है और डिप्रेशन और स्ट्रेस को दूर करने में मददगार माना जाता है. पेट के तमाम अंगों, फेफड़ों की सेहत के लिए ये काफी फायदेमंद है. इसे करने से पाचन में सुधार होता है. थायरॉयड के रोगियों के लिए भी इसे लाभकारी माना जाता है.
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