उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद (Ghaziabad) में रहने वाली 3 छोटी बच्चियां सोसायटी की लिफ्ट में फंस गई थीं. पूरा मामला 29 नवंबर का है, जिसका वीडियो सोशल मीडिया पर काफी वायरल हुआ. जानकारी के मुताबिक वीडियो में दिख रही तीनों बच्चियां गाजियाबाद के एसोटेक नेस्ट हाउसिंग सोसायटी (Assotech Nest Housing Society) में अपने परिवार के साथ रहती हैं जो लिफ्ट खराब होने की वजह से उसमें आधे घंटे तक फंसी रहीं. वायरल वीडियो में  आप देख सकते हैं कि तीनों बच्चियां काफी घबराई हुई हैं. एक बच्ची ने लिफ्ट खोलने की काफी कोशिशें की, उसने लिफ्ट का इमरजेंसी बटन भी दबाया लेकिन उन्हें उस समय कोई मदद नहीं मिली थी. 

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इस पूरे मामले में सोसायटी पर लिफ्ट के मेनटेनेंस को लेकर लापरवाही बरतने का आरोप है और उनके खिलाफ पुलिस में शिकायत भी दर्ज करा दी गई है. लेकिन इस घटना ने देश के उन सभी माता-पिताओं को एक बड़ी सीख भी दी है, जो ऊंची इमारतों में रहते हैं और लिफ्ट का प्रयोग करते हैं.

लिफ्ट के इस्तेमाल को लेकर माता-पिता के लिए जरूरी बातें

ऊंची इमारतों में रहने वाले माता-पिता को अपने बच्चों की सुरक्षा को ध्यान में रखने की जरूरत है. पैरेंट्स को इस बात का खास ध्यान रखना चाहिए कि वे अपने बच्चों को लिफ्ट में अकेले न आने-जाने दें. अगर ऐसा संभव नहीं है तो बच्चों को लिफ्ट में मौजूद रहने वाले सभी सेफ्टी फीचर्स के बारे में बारीकी से समझाएं ताकि किसी भी इमरजेंसी के वक्त उन्हें मदद मिल सके.

बच्चों को लिफ्ट के सेफ्टी फीचर्स के बारे में बताएं पैरेंट्स

हर माता-पिता की कोशिश होनी चाहिए कि वे जब कभी भी अपने बच्चे के साथ लिफ्ट का इस्तेमाल करें तो वे उन्हें इमरजेंसी के वक्त काम आने वाले फीचर्स के बारे में हर बार जानकारी दें. इसके साथ ही माता-पिता को अपने बच्चों को ये भी बताना चाहिए कि वे लिफ्ट बंद होने पर भी लिफ्ट के अंदर पूरी तरह से सुरक्षित रहते हैं. दरअसल, गाजियाबाद वाले मामले में तीनों बच्चियां काफी घबरा गई थीं.

लिफ्ट में होता है अलार्म और फोन बटन

पैरेंट्स को कोशिश करनी चाहिए कि वे अपने बच्चों को लिफ्ट का सही इस्तेमाल करने का तरीका भी जरूर बताएं. बिल्डिंगों में लगाई जाने वाली लिफ्ट कई तरह के सेफ्टी फीचर्स से लैस होती है. इमरजेंसी के समय मदद के लिए लिफ्ट में अलार्म बटन और फोन बटन होता है, ताकि लिफ्ट बंद होने की स्थिति में उनका इस्तेमाल कर मदद प्राप्त की जा सके. इसके अलावा कई लिफ्ट में अलग से भी कुछ फोन नंबर्स दिए जाते हैं, जिस पर मुसीबत के समय में कॉल करके मदद मांगी जा सकती है.

12 साल से कम उम्र के बच्चों को अकेले लिफ्ट का इस्तेमाल न करने की सलाह

 

लिफ्ट बनाने वाली जर्मन कंपनी ThyssenKrupp अपने यूजर्स को सलाह देता है कि 12 साल से कम उम्र के बच्चों को कभी भी अकेले लिफ्ट का इस्तेमाल न करने दें. कंपनी कहती है कि अगर 12 साल से कम उम्र के बच्चे के साथ लिफ्ट में हमेशा एक वयस्क व्यक्ति होना चाहिए. जबकि गाजियाबाद वाले मामले में तीनों बच्चियों की उम्र 10 से 12 साल के बीच थी और लिफ्ट में उनके साथ कोई वयस्क भी नहीं था.