दुनिया की सबसे बड़ी मोबाइल कंपनी Apple वाट्सएप (Whatsaap), फेसबुक जैसी कंपनियों को झटका देने की तैयारी कर रही है. एप्‍पल ने अपने मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम (OS) में फेरबदल करते हुए इंटरनेट-आधारित वॉयस कॉल्स का इस्‍तेमाल नहीं होने पर भी उसे बैकग्राउंड में रन करने वाले एप्स की पहुंच रोकने की योजना बनाई है. दरअसल, फेसबुक के एप मैसेंजर और वाट्सएप फोन कॉल कनेक्शन को तेजी से लगाने के लिए एक फीचर को बैकग्राउंड में चलाते रहते हैं, जिसे वॉयस ओवर इंटरनेट प्रोटोकॉल (VOIP) के नाम से जाना जाता है. Whatsapp वीओआईपी को एंड-टू-एंड एनक्रिप्शन की सुविधा देती है. 

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इस साल के अंत तक आएगा अपडेट

फॉक्स बिजनेस की रिपोर्ट में कहा गया कि इस फीचर से फेसबुक और अन्य कंपनियां यूजर के फोन से डेटा भी एकत्र करती रही हैं. अब एप्पल ने अपने नए IOS में इसे रोकने की योजना बनाई है. इस आईओएस को कंपनी इस साल के अंत में जारी करेगी. 

क्‍या होगा आगे

ऐसी स्थिति में फेसबुक समेत अन्य मैसेंजिंग एप डेवलपर्स को अपने एप को एप्पल के दिशा-निर्देश के तहत लाने के लिए रिडिजाइन करना होगा. एप्पल ने इस बारे में जून में हुए वर्ल्डवाइड डेवलपर्स कान्फ्रेंस भी घोषणा की थी.

फेसबुक ने एप डेवलपरों पर मुकदमा किया

धोखाधड़ी के एक मामले को पकड़ने के बाद फेसबुक ने दो एप डेपलपरों के खिलाफ मुकदमा किया है, क्लिक इंजेक्शन घोटाले से कई स्मार्टफोन मालवेयर से प्रभावित हो गए थे. ये एप्स गूगल प्ले स्टोर पर हैं. इस एप के साथ आनेवाला मालवेयर यूजर के फोन में आ रहे फेसबुक विज्ञापनों पर नकली यूजर बनकर क्लिक करता है, जिससे ऐसा लगता है कि यूजर ने खुद इसे क्लिक किया है.

फेसबुक ने एक ब्लॉग पोस्ट में कहा कि जिन एप डेवलपरों को पकड़ा गया है, वे हॉन्‍गकॉन्‍ग के लियोनमोबी और सिंगापुर के जेदीमोबी हैं.