Pyramid Technoplast IPO का आज आखिरी दिन, मार्केट गुरु Anil Singhvi से जनिए पैसे लगाएं या नहीं?
Pyramid Technoplast IPO: पब्लिक ऑफर में प्रोमोटर और मौजूदा निवेशक ऑफर फॉर सेल यानी OFS के जरिए स्टॉक की बिक्री करेंगे. दूसरे दिन तक इश्यू करीब 6 गुना भरा है.
Pyramid Technoplast IPO: इंडस्ट्रियल पैकेजिंग कंपनी Pyramid Technoplast IPO का आज (22 अगस्त) आखिरी दिन है. कंपनी पब्लिक इश्यू के जरिए 153 करोड़ रुपये जुटाने के लिए IPO लाई है. इसके लिए प्राइस बैंड 151-166 रुपये प्रति शेयर तय किया गया है. IPO में प्रोमोटर और मौजूदा निवेशक ऑफर फॉर सेल यानी OFS के जरिए स्टॉक की बिक्री करेंगे. दूसरे दिन तक इश्यू करीब 6 गुना भरा है. इस IPO में निवेशकों को पैसे लगाने चाहिए या नहीं, इस पर मार्केट गुरु अनिल सिंघवी (Anil Singhvi) ने अपनी राय बताई है. उनका कहना है कि इस पब्लिक इश्यू से दूर रहें (Avoid) या अगर आप ज्यादा जोखिम लेने की क्षमता रखते हैं तो ही इसमें पैसे लगाएं.
Pyramid Technoplast IPO: क्या है पॉजिटिव
मार्केट गुरु का कहना है कि अगर पैसे लगाना चाहते हैं, तो इस आईपीओ के पॉजिटिव बातें क्या हैं, उसे जान लीजिए. कंपनी के प्रमोटर अनुभवी और साफ-सुधरी छवि वाले हैं. कंपनी का फाइनेंशियल रिकॉर्ड अच्छा है. यह छोटे प्राइस-साइज का आईपीओ है. इसलिए लिस्टिंग के बाद एक्शन देखने को मिल सकता है.
Pyramid Technoplast IPO: क्या है निगेटिव
इस आईपीओ की कुछ निगेटिव बातें भी जान लें. अनिल सिंघवी का कहना है, इस सेक्टर से निवेशकों का कभी पैसा नहीं बना है. पिरामिड टेक्नोप्लॉस्ट काफी छोटी साइज की कंपनी है. ऊंचे बेस पर मजबूत ग्रोथ बनाए रखना चुनौती होगी.
Pyramid Technoplast IPO: खास बातें
IPO 18 से 22 अगस्त तक खुला रहेगा
प्राइस बैंड : 151-166 रुपये/ शेयर
इश्यू साइज : 153 करोड़ रुपये
OFS: 61.8 करोड़ रुपये
IPO में न्यूनतम निवेश एक लॉट के लिए करना होगा, जिसमें 90 शेयर मिलेंगे. इसके लिए 14940 रुपये का भुगतान करना है. शेयर की लिस्टिंग NSE और BSE पर होगी. लिस्टिंग 30 अगस्त को हो सकती है. शेयर अलॉटमेंट की तारीख 25 अगस्त है. प्री-IPO में कंपनी ने एंकर बुक के जरिए 27.5 करोड़ जुटाए हैं.
Pyramid Technoplast: क्या है बिजनेस
Pyramid Technoplast का मुख्य कारोबार केमिकल, एग्रो केमिकल, स्पेशियलिटी केमिकल और फार्मा बनाने वाली कंपनियों के लिए मोल्डेड प्रोडक्ट्स जैसे पॉलिमर ड्रम बनाना है, जोकि कंपनियां पैकेजिंग के लिए इस्तेमाल होती हैं. कंपनी की शुरुआत साल 1997 में हुई.
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