SEBI Latest Update: कैपिटल मार्केट रेगुलेटर सेबी ने 8 कंपनियों के खिलाफ कुल 51 लाख रुपए का जुर्माना लगाया है. सेबी (सिक्योरिटी एक्सचेंज बोर्ड ऑफ इंडिया) के मुताबिक,  इजेक्टा मार्केटिंग लिमिटेड के मामले में गलत और कपटपूर्ण ट्रेडिंग प्रैक्टिस के चलते इन कंपनियों पर कुल 51 लाख रुपए का जुर्माना लगाया गया है. बता दें कि रेगुलेटर ने 2-10 लाख रुपए के बीच में इन कंपनियों पर जुर्माना लगाया है. ICICI सिक्योरिटीज की ओर से मिली शिकायत के बाद सेबी ने इन 8 कंपनियों पर 51 लाख रुपए का जुर्माना (SEBI Penalty) लगाया है. 

किन कंपनियों पर लगा जुर्माना

  • मयूर माहेश्वरी पंचाल
  • जय कमलेशभाई भावसार
  • हितेशभाई मिस्त्री
  • भंसाली वैल्यू क्रिएशन
  • फास्टनर मशीनरी डीलर्स प्राइवेट लिमिटेड
  • भविष्य ई-कॉमर्स प्राइवेट लिमिटेड
  • अनुरोध इंफ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड
  • पटेल मलय शैलेशभाई

COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

ICICI सिक्योरिटीज ने लगाया जुर्माना

बता दें कि इस मामले के बारे में सेबी को ICICI सिक्योरिटीज की ओर से शिकायत मिली थी. ICICI सिक्योरिटीज ने आरोप लगाया था कि कुछ SMS सर्कुलेट किए जा रहे हैं, जिसमें इजेक्टा मार्केटिंग लिमिटेड (Ejecta Marketing Ltd) के शेयरों को खरीदने की सलाह दी जा रही है. 

इसके बाद सेबी ने दिसंबर 2017 से फरवरी 2018 के बीच इजेक्टा मार्केटिंग लिमिटेड (Ejecta Marketing Ltd) के शेयरों में हो रही ट्रेडिंग की जांच की. जांच में पता चला कि पंचाल, भावसार और मिस्त्री की ओर से फास्टनर मशीनरी, भविष्य ई-कॉमर्स, अनुरोध इंफ्रास्ट्रक्चर और शैलेशभाई के साथ मिलीभगत कर एक ठोस रणनीति अपनाई जा रही है. 

सेबी ने अपनी जांच में पाया

सेबी ने जांच में पाया कि पंचाल, भावसार और मिस्त्री मजबूत ट्रेडिंग का इशारा देने के लिए लगातार बड़ी संख्या में ऑर्डर की खरीद फरोख्त कर रहे हैं, जिससे निवेशक इस कंपनी के शेयर के प्रति आकर्षित हो रहे हैं और खरीदारी करे और इसी बीच फास्टनर मशीनरी, भविष्य ई-कॉमर्स, अनुरोध इंफ्रास्ट्रक्चर और शैलेशभाई को एग्जिट ऑप्शन मिल जाए. ये एक तरह से PFUTP नियम का उल्लंघन है. 

मार्केट रेगुलेटर सेबी ने ये भी पाया कि भंसाली वैल्यू क्रिएशन सेबी से रजिस्टर्ड है और पंचाल, भावसार और मिस्त्री का ब्रोकर है. हालांकि जब पंचाल, भावसार और मिस्त्री ने बड़ी संख्या में ऑर्डर बुक किए और कुछ हिस्सा डिलीट कर दिया, तो इस वक्त ब्रोकर की जिम्मेदारी थी कि वो इन तीनों कंपनियों को बताए कि ये ट्रेडिंग पैटर्न गलत है और इससे EML कंपनी के शेयर की सही पिक्चर शेयर मार्केट में नहीं दिखेगी. सेबी ने कहा कि ब्रोकर को इन तीनों कंपनियों को ऐसा करने से रोकना चाहिए था.