घरेलू शेयर बाजार में बीते सप्ताह लगातार हिचकोले खाने वाली स्थिति बनी रही. शुक्रवार को बाजार में आई अचानक मंदी से निवेशकों को साढ़े 5 लाख करोड़ की चपत लगी है.  इस तेज गिरावट के बाद भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) और बाजार नियामक सेबी वित्तीय बाजार पर करीब से नजर रखे हुए हैं. 

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केंद्रीय बैंक ने बयान जारी करके कहा कि आरबीआई और भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (सेबी) वित्तीय बाजार में हाल में आए उतार-चढ़ाव पर करीब से नजर बनाये हुए हैं और जरूरत पड़ने पर उचित कार्रवाई के लिए भी तैयार है.

बंबई शेयर बाजार का प्रमुख सूचकांक सेंसेक्स शुक्रवार को मजबूती के साथ खुला और अचानक दोपहर के कारोबार में 1,127.58 अंक यानी 3.03 प्रतिशत का गोता लगाकर 35,993.64 अंक के न्यूनतम स्तर पर आ गया. हालांकि बाद में इसमें तेज सुधार आया. अंत में सेंसेक्स 279.62 अंक की गिरावट के साथ 36,841.60 अंक पर बंद हुआ. पूरे कारोबार के दौरान इसमें 1,495.60 अंक का उतार-चढ़ाव आया.

नेशनल स्टॉक एक्सचेंज का निफ्टी भी 91.25 अंक की गिरावट के साथ 11,143.10 अंक पर बंद हुआ. 

निवेशकों को लगी 5.6 लाख करोड़ की चपत

बाजार में लगातार चौथे दिन गिरावट दर्ज की गई और इससे निवेशकों को 5.6 लाख करोड़ रुपये की चपत लगी थी. विदेशी निवेशकों ने इस महीने अब तक भारतीय पूंजी बाजारों से 15,365 करोड़ रुपये (2.1 अरब डॉलर) की निकासी की है. जबकि अगस्त और जुलाई महीने में निवेशकों ने बाजार में निवेश किया था. 

एफपीआई की ओर से निकासी की अहम वजह वैश्विक स्तर पर व्यापार मोर्चे पर बढ़ता तनाव और चालू खाते के घाटे की चिंता रही.

अस्थायी आंकड़ों के अनुसार विदेशी पोर्टफोलियो निवेशक (एफपीआई) बुधवार को शुद्ध रूप से बिकवाल रहे और उन्होंने 2,184.55 करोड़ रुपये मूल्य के शेयर बेचे. वहीं, घरेलू संस्थागत निवेशकों (डीआईआई) ने 1,201.30 करोड़ रुपये मूल्य के शेयर खरीदे.

वहीं, व्यापार मोर्चे पर तनाव बढ़ने की आशंकाओं के चलते पिछले दिनों रुपये की विनिमय दर में तेज गिरावट दर्ज की गयी. हालांकि, शुक्रवार के कारोबारी दिन में डॉलर के मुकाबले रुपये 17 पैसे चढ़कर 72.20 रुपये प्रति डॉलर पर बंद हुआ.

(इनपुट भाषा से)