ट्रैकिंग एरर दूर करने के लिए इक्विटी कैश सेगमेंट के क्लोजिंग ऑक्शन सेशन का प्रस्ताव रखा गया है. 03:30-03:45 PM के बीच क्लोजिंग ऑक्शन सेशन का प्रस्ताव दिया है. शुरू में केवल F&O वाले शेयरों के लिए ही कॉल ऑक्शन सेशन का प्रस्ताव है.

COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

प्रस्ताव के अनुसार, रेफरेंस प्राइस से 5% के दायरे में ऊपर या नीचे का प्राइस बैंड रहेगा. इसके तहत क्लोजिंग के आधे घंटे पहले वॉल्यूम और भाव के औसत से रेफरेंस प्राइस तय होगा. इस प्रस्तावों पर क्या फीडबैक मिलता है, वह देखना होगा.

पैसिव फंड्स के सुझाव पर सेबी ने कंसल्टेशन पेपर जारी किया है. 26 दिसंबर तक सेबी ने सभी पक्षों से प्रस्ताव पर राय मांगी है. अभी क्लोजिंग प्राइस, वॉल्यूम और भाव के औसत से निकाली जाती है. हालांकि, क्लोजिंग के सटीक भाव का फायदा नहीं मिल पाता है. 

इतना ही नहीं, इंडेक्स रीबैलेंसिंग, डेरिवेटिव्स एक्सपायरी के दिन भारी उतर-चढ़ाव होता है. दुनिया के बड़े बाजारों में भी क्लोजिंग ऑक्शन सेशन की व्यवस्था है, जिसकी तर्ज पर अब इसे भारतीय शेयर बाजारों में लागू करने की दिशा में सोचा जा रहा है.