शिक्षा प्रौद्योगिकी मंच बायजू ने शुक्रवार को कहा कि उसकी संचालक कंपनी 'थिंक एंड लर्न' के खिलाफ दिवाला कार्यवाही रद्द करने का एनसीएलएटी का आदेश कंपनी और उसके संस्थापकों के लिए एक बड़ी जीत है. राष्ट्रीय कंपनी कानून अपीलीय न्यायाधिकरण (एनसीएलएटी) ने भारतीय क्रिकेट बोर्ड (बीसीसीआई) के साथ कंपनी के 158 करोड़ रुपये के बकाया निपटान समझौते को मंजूरी दे दी है. 

बायजू रवींद्रन को वापस मिलेगा कंपनी का कंट्रोल

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इसके साथ ही बायजू के खिलाफ दिवाला कार्यवाही को भी रद्द कर दिया गया है. यह एक ऐसा कदम है, जिसके बाद संस्थापक बायजू रवींद्रन को प्रभावी रूप से फर्म का नियंत्रण वापस मिल जाएगा. कंपनी ने एक बयान में कहा कि यह घटनाक्रम बायजू और उसके संस्थापकों के लिए एक बड़ी जीत है. अपीलीय न्यायाधिकरण के आदेश का स्वागत करते हुए रवींद्रन ने कहा, ''एनसीएलएटी का यह आदेश सिर्फ एक कानूनी जीत नहीं है, बल्कि पिछले दो सालों में हमारे बायजू परिवार के साहसपूर्ण प्रयासों का प्रमाण है.'' 

बयान में रवींद्रन ने कहा, ''हमारी संस्थापक टीम के सदस्यों ने इस सपने को साकार करने के लिए अपने दिल और आत्मा के साथ अपनी पूरी बचत भी झोंक दी है. इसके लिए उन्हें बहुत ज़्यादा कीमत चुकानी पड़ी है. बायजू के हर साथी ने अभूतपूर्व चुनौतियों के बावजूद अथक परिश्रम करते हुए असाधारण लचीलापन दिखाया है. उनका सामूहिक त्याग मुझे विनम्र बनाता है और मैं उनमें से सबका दिल से आभारी हूं.'' उन्होंने कहा, ''हम उच्च-गुणवत्ता वाली शिक्षा प्रदान करने के अपने मिशन के लिए प्रतिबद्ध हैं. आप कभी भी उस टीम को नहीं हरा सकते, जो कभी हार नहीं मानती.''