वित्त मंत्री (Finance Minister) निर्मला सीतारमण ने शनिवार को प्रधानमंत्री कृषि ऊर्जा सुरक्षा उत्थान महाभियान (PM Kusum) के एक्‍सटेंशन का ऐलान किया है. इस योजना के तहत 20 लाख किसानों (Farmers) को सोलर पंप (Solar Pump) लगाने में मदद होगी. वित्त मंत्री ने बजट 2020 (Budget 2020,  #BudgetOnZee) पेश करते हुए कहा कि 15 लाख किसानों को ग्रिड से जुड़े सोलर पंप लगाने के लिए रकम मुहैया कराई जाएगी. किसान इन सोलर पंपों से बनने वाली अतिरिक्त बिजली ग्रिड को दे सकेंगे. इससे उनकी आमदनी का स्रोत भी खुलेगा.

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मोदी सरकार ने पिछले कार्यकाल में फरवरी 2019 में इस योजना की शुरुआत की थी, जिसके लिए 34,422 करोड़ रुपये का एलोकेशन हुआ था. सीतारमण ने लोकसभा में कहा कि इस योजना से किसानों की डीजल (Diesel) और केरोसिन (Kerosene) तेल पर निर्भरता घटी है और वे सौर ऊर्जा से जुड़े हैं. 

इस योजना से किसान Solar Energy पैदा करने और उसे ग्रिड को बेचने में सक्षम हैं. उन्होंने कहा कि किसान अपनी बंजर जमीन पर सौर ऊर्जा पैदा कर कमाई कर सकेंगे. 

पीएम कुसुम योजना के तीन रूप हैं- 10,000 मेगावाट क्षमता के ग्रिड से जुड़े विकेंद्रीकृत नवीकरणीय बिजली संयंत्र, 17.50 लाख ग्रिड सौर बिजली कृषि पंप और ग्रिड से जुड़े हुए 10 लाख सौर बिजली कृषि पंपों का सोलराइजेशन. योजना के तहत इन तीनों को मिलाकर 2022 तक कुल 25,750 मेगावाट सौर क्षमता तैयार करने की योजना है.

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उधर, सीतारमण ने रेल पटरियां बिछाने के साथ ही सौर ऊर्जा क्षमता बढ़ाने का भी प्रस्ताव किया. उन्‍होंने कहा कि पर्यटक स्थलों को जोड़ने के लिए तेजस की तरह की और ट्रेनों को चलाया जाएगा. केंद्रीय बजट पेश करते हुए उन्होंने कहा कि दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे 2023 तक पूरा हो जाएगा और चेन्नै-बेंगलुरु एक्सप्रेसवे भी बनाया जाएगा. 

वित्त मंत्री ने कहा कि 1,150 ट्रेनें PPP (सार्वजनिक निजी भागीदारी) तरीके से चलाई जाएंगी, साथ ही 4 स्टेशनों को निजी क्षेत्र की मदद से दोबारा विकसित किया जाएगा. रेलवे स्टेशनों पर 550 WIFI सुविधाएं दी गई हैं.