रेलवे की सबसे आधुनिक ट्रेन  Train 18 जल्द ही देशभर में विभिन्न रूटों पर चलती दिखाई देगी. दरअसल ट्रायल के दौरान इस ट्रेन के बेहतरीन प्रदर्शन से उत्साहित रेल मंत्रालय ने 4 और Train18 ट्रेनें बनाने के ऑर्डर दे दिया हैं. रेल मंत्री की अध्यक्षता में हुई बैठक में Train 18 को तैयार करने वाली रेलवे की चैन्नई स्थित कोच फैक्ट्री ICF को मार्च के पहले 4 और Train18 ट्रेनें बनाने के ऑर्डर दिए गए हैं. इन रेलगाड़ियों को देश के विभिन्न हिस्सों में चलाया जाएगा.

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180 किलोमीटर प्रति घंटा पर हो चुका है ट्रायल

हाल है में रेलवे ने देश की सबसे आधुनिक ट्रेन Train 18 का ट्रायल 180 किलोमीटर प्रतिघंटा की गति से किया है. यह ट्रायल राजस्थान में कोटा से सवाई माधोपुर के बीच किया गया है. इस गाड़ी को तैयार करने में शामिल कुछ रेल अधिकारियों के अनुसार ये रेलगाड़ी 230 किलोमीटर प्रतिघंटा तक कि गति से चल सकती है, लेकिन पटरियों की स्थिति को ध्यान में रखते हुए इस रेलगाड़ी को कम गति पर चलाया गया. 

मुरादाबाद में हुआ तकनीकी ट्रायल

Train 18 का तकनीकी ट्रायल उत्तर रेलवे के मुरादाबाद मंडल में किया गया वहीं कमिश्नर रेलवे सेफ्टी की ओर से इस गाड़ी के स्पीड ट्रायल के लिए कोटा से सवाईमाधोपुर के बीच ट्रायल की अनुमति दी है. यहाँ बेहद सफलता पूर्वक ये ट्रायल किया गया। 

टी-18 की खूबियां

टी-18 ट्रेन में यूरोप में चलने वाली आधुनिक गाड़ियों की तरह तमाम खूबियां हैं. यह रेलगाड़ी देश की पहली ट्रेन सेट है. इसमें इंजन लगाने की जरूरत नहीं है. पहले कोच में ड्राइवर के लिए अलग केबिन है. प्लेटफॉर्म से गाड़ी में चढ़ने के लिए ट्रेन में एक ऐसा प्लेटफॉर्म दिया गया है जो अपने आप एडजस्ट हो जाता है. इस रेलगाड़ी का ऐरोडियानिमिक डजाइन इसकी स्पीड बढ़ाने की मदद करता है. गाड़ी में कुल 16 कोच हैं, जिनमें 2 एक्जीक्यूटिव क्लास के कोच हैं. 

इस ट्रेन में हैं ये सुविधाएं

एक्जीक्यूटिव क्लास के डिब्बों में 52 सीटें और अन्य कोचों में 78 सीटें हैं. इस रेलगाड़ी को शताब्दी रेलगाड़ियों की जगह पर चलाया जाएगा. इस ट्रेन में सभी डिब्बों में आपातकालीन टॉक-बैक यूनिट्स (जिससे यात्री आपातकाल में ट्रेन के क्रू से बात कर सकें) दिया गया है, साथ ही सीसीटीवी लगाए गए हैं, ताकि सुरक्षित सफर हो.