रेल यात्रा के लिए आईआरसीटीसी (IRCTC) से ई-टिकट (e-ticket) बुक कराते समय ट्रैवल इंश्योरेंस का ऑप्शन आता है. इसके तहत बेहद कम प्रीमियम पर यात्रा के दौरान बीमा कंपनियों द्वारा बीमा ऑफर किया जाता है. हालांकि इस बीमा के क्लेम को लेकर भारतीय रेलवे या IRCTC की कोई जबाबदेही नहीं है. IRCTC के मुताबिक बीमा पॉलिसी यात्री और बीमा कंपनी के बीच किया गया करार है, और किसी तरह के क्लेम की जिम्मेदारी भी उन्हीं दोनों के बीच होगी.

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कहां करें पत्राचार?

IRCTC के एक नोटिफिकेश के मुताबिक 'इस बारे में पॉलिसीधारक सभी तरह के पत्राचार पॉलिसी दस्तावेज पर दिए गए टोल फ्री नंबर, ऑफिशियल ई-मेल आईडी या फोन नंबर पर सीधे बीमा कंपनी को करेगा. इस बारे में कोई भी पत्राचार IRCTC के साथ नहीं किया जाएगा.'

कितनी है प्रीमियम राशि?

IRCTC के मुताबिक उसका प्लेटफार्म अपने बेवसाइट के जरिए केवल लेनदेन का प्लेटफार्म मुहैया कराता है और किसी भी दशा में उक्त पॉलिसी के संबंध में उसकी कोई जिम्मेदारी या जवाबदेही नहीं है. IRCTC की वेबसाइट पर ई-टिकट बुक कराते समय भारतीय नागरिक यात्रा बीमा ले सकते हैं. ये पॉलिसी विदेश नागरिकों के लिए नहीं है. ये बीमा पूरी तरह ऑप्शनल है और यात्री चाहें तो रिजेक्ट कर सकते हैं. 1 अक्टूबर 2019 से लागू दर के मुताबिक बीमा की दर प्रति यात्री 49 पैसे है. बीमा लेने पर यात्रियों को बीमा के बारे में एसएमएस और ईमेल के जरिए जानकारी भेजी जाएगी.

कितनी मिलेगी क्षतिपूर्ति?

इस योजना के तहत कुल बीमा राशि 10 लाख रुपये है. स्थाई दिव्यांगता की स्थिति में 7.5 लाख रुपये दिए जाएंगे. घायल होने की स्थिति में 2 लाख रुपये तक का इलाज कराया जाएगा. बुकिंग के बाद बीमा कंपनी आपको ई-मेल से एक लिंक भेजेगी, जिस पर क्लिक करके नॉमिनी की डिटेल भरी जा सकती है. एक बार बीमा के लिए प्रीमियम देने के बाद पॉलिसी को रद्द नहीं किया जा सकता है. यहां तक कि वेटलिस्टेड टिकट के लिए भी नहीं. बीमा के लिए आईआरसीटीसी ने भारती एक्सा जनरल इंश्योरेंस, बजाज एलियांज जनरल इंश्योरेंस और श्रीराम जनरल इंश्योरेंस के साथ समझौता किया है.