बच्चों के भविष्य के लिए बेहतर विकल्प हो सकता है PPF खाता, जानिए क्या हैं इसके फायदे
अगर आपने अपने बच्चे के लिए पीपीएफ खाता खोला है तो जब बच्चा मैच्योर यानी व्यस्क होगा तो पीपीएफ में जमा रकम का इस्तेमाल कर सकता है.
पब्लिक प्रॉविडेंट फंड यानी पीपीएफ निवेशकों के लिए बचत का सुरक्षित और अच्छा साधन माना जाता है. इससे मिलने वाला रिटर्न भी एफडी से अच्छा होता है. खास बात ये है कि पीपीएफ में निवेश करने पर आयकर कानून के सेक्शन 80-सी के तहत टैक्स छूट भी मिलती है. पीपीएफ खाते में सालभर में अधिकतम 12 बार पैसे जमा किये जा सकते हैं. लेकिन पूरे महीने का ब्याज तभी मिलेगा जब खाते में पैसा 5 तारीख से पहले जमा किया हो. यानी कि 5 तारीख से पहले आपके पीपीएफ खाते में जितना पैसा खाते में होगा, उस पर ही ब्याज मिलेगा.
पीपीएफ में आप खुद अपना और अपने नाबालिग बच्चे का खाता खोल सकते हैं. यह खाता बच्चों के लिए बचत का एक अच्छा विकल्प बनकर उभर रहा है.
लॉक-इन पीरियड
यह माना जाता है कि पीपीएफ खाता 15 साल के लॉक-इन पीरियड के साथ शुरू होता है. यानी जिस दिन आप यह खाता खोलते हैं तो उसके 15 साल तक इससे कोई छेड़छाड़ यानी इससे रकम नहीं निकाली जा सकती. इसका मैच्योरिटी पीरियड 15 साल है. आपको बता दें कि पीपीएफ खाते मैच्योरिटी की गणना की तारीख उस वित्तीय वर्ष से ली जाती है जिसमें यह खाता खोला गया है. अगर आपने अपना पीपीएफ खाता 1 मई, 2018 को खोला है तो इसके वॉक इन पीरियड की शुरूआत 31 मार्च, 2019 से की जाएगी, ना कि 2018 से. यानी यह खाता 1 अप्रैल 2034 को मैच्योर होगा.
बच्चे के लिए फायदा
अगर आपने अपने बच्चे के लिए पीपीएफ खाता खोला है तो जब बच्चा मैच्योर यानी व्यस्क होगा तो पीपीएफ में जमा रकम का इस्तेमाल कर सकता है. याद रखें कि आप अपने बच्चे और अपने पीपीएफ खाते में एकसाथ पैसा जमा कर सकते हैं, लेकिन दोनों खातों का पैसा 1.5 लाख रुपये से अधिक नहीं होना चाहिए. पीपीएफ के नियमों के मुताबिक, एक वित्तीय वर्ष में इस खाते में जमा 1.5 लाख रुपये पर भी आप टैक्स छूट का लाभ उठा सकते हैं, डेढ़ लाख से अधिक रकम पर नहीं.
बच्चे को कैसे मिलेगा लाभ
अगर आप अपने बच्चे के शुरूआती साल (1-5 वर्ष के बच्चे का) में पीपीएफ खाता खुलवाते हैं, यह खाता 15 वर्षों के लिए लॉक हो जाएगा. जब आपका बच्चा व्यस्क (18-20 वर्ष) का होगा तो उसका पीपीएफ खाता भी मैच्योर हो जाएगा. खाता मैच्योर होने पर पीपीएफ का पैसा निकलवाने के लिए बच्चा अपने हस्ताक्षर करने लायक हो जाएगा. और किसी भी अभिभावक को बच्चे के व्यस्क होने पर उसके प्रोफेशन कोर्स के लिए ज्यादा पैसों की जरूरत होती है. ऐसे समय में पीपीएफ में जमा पैसा काम आएगा.
इसका एक बड़ा फायदा आपके बच्चे के लिए ये होगा कि जिस पीपीएफ का लॉक-इन पीरियड आपके लिए 15 था वह बच्चे के लिए कम हो जाएगा. वह कम समय में ही पीपीएफ के पैसों का अपने लिए उपयोग कर सकता है. यह इसलिए भी फायदेमंद है क्योंकि पीपीएफ खाते में ईईई की सुविधा है, यानी, योगदान पर टैक्स ब्रेक है, ब्याज कर मुक्त है और वापस ले ली गई राशि भी कर मुक्त है.
नतीजतन, पीपीएफ को एक अच्छा निवेश माध्यम माना जाता है लेकिन 15 वर्षों के लंबी लॉक-इन पीरियड के कारण तरलता एक समस्या होने लगती है. अगर इस बात को नजरंदाज किया जाए तो, बच्चे के लिए इससे बेहतर कोई उपाय नहीं हो सकता है.
पीपीएफ का एक्सटेंशन
मैच्योरिटी के बाद पीपीएफ खाताधारक के पास दो विकल्प होते हैं, या तो वह अपना पैसा वापस ले कर खाता बंद कर दे, या फिर इस खाते को फिर एक नए पीरियड के लिए आगे बढ़ा दे. एक्टेशन दो तरह से किया जा सकता है, एक जिसमें पहले की तरह आप नियमित धनराशि जमा करके या फिर पहले खाते की शेष राशि को आगे के लिए लॉक सकते हैं. पीपीएफ की मैच्योर राशि को अगल पांच साल के लिए और लॉक कर सकते हैं.
इसका मतलब यह हुआ कि अगर आपका बच्चा मैच्योरिटी के बाद भी इस खाते को जारी रखना चाहता है तो अगले पांच साल के लिए पीपीएफ खाते को और लॉक कर सकता है. इसमें भी बच्चा इस बात का चुनाव कर सकता है कि वह पीपीएफ के एक्सटेंशन को कंट्रीब्यूशन के साथ जारी रखना चाहता है या बिना कंट्रीब्यूशन के.
बच्चे का नाम खुल सकता है खाता
पीपीएफ खाता आप अपने नाबालिग बच्चे के नाम खुलवा सकते हैं. खास बात ये है कि माता और पिता, दोनों ही बच्चे के नाम अलग-अलग खाता खुलवा सकते हैं. हर बच्चे के नाम से अलग-अलग खाता खुलवाया जा सकता है. माता-पिता के नहीं होने पर बच्चे के दादा-दादी या नाना-नानी, जो भी कानूनी अभिभावक हैं, बच्चे के नाम पीपीएफ खाता खुलवा सकते हैं.
कहां खोल सकते हैं पीपीएफ खाता
पीपीएफ खाता आप पोस्ट ऑफिस, किसी भी सरकार बैंक, कुछ प्राइवेट बैंक जैसे आईसीआईसीआई और Axis बैंक में खोल सकते हैं. पीपीएफ खाते को पोस्ट ऑफिस से बैंक या किसी एक बैंक से अन्य बैंक में ट्रांसफर भी कर सकते हैं. आप ऑनलाइन भी यह खाता खोल सकते हैं.