पति-पत्नि का रिश्ता भले ही इमोशनल होता है. लेकिन, फाइनेंशियली भी ये एक दूसरे को सपोर्ट कर सकते हैं. कुछ ऐसे ट्रांजैक्शन हैं, जिन्हें अगर पति-पत्नी मिलकर करें तो बड़ा फायदा दिखता है. ये सिर्फ पैसों को बढ़ाने या बचाने में ही मदद नहीं करेगा. बल्कि इनकम टैक्स में छूट जैसे फायदे भी आपकी पत्नी करा सकती हैं. अगर आप अपनी पत्नी के साथ मिलकर कुछ ज्वाइंट ट्रांजैक्शन करते हैं तो आप काफी टैक्स (Tax Saving Tips) बचा सकते हैं. इसके लिए 3 सॉलिड तरीकों पर आपको विचार करना होगा. इससे आपका 7 लाख रुपए तक का इनकम टैक्स बच सकता है.

1- पत्नी के नाम पर एजुकेशन लोन

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बहुत से मैरिड कपल इस बात पर तैयार होते हैं कि उनकी पत्नियों को आगे भी पढ़ाई करनी चाहिए. ऐसे में अगर आपकी पत्नी भी पढ़ाने करना चाहती हैं तो एजुकेशन लोन से काम बन जाएगा. आपको उस लोन पर लगने वाले ब्याज पर टैक्स छूट मिलेगी. एजुकेशन लोन के ब्याज पर आप 8 सालों तक टैक्स छूट ले सकते हैं. यह छूट इनकम टैक्स के सेक्शन 80E के तहत मिलती है. हालांकि, आपको लोन लेते वक्त यह ध्यान रखना होगा कि आप स्टूडेंट लोन लें और किसी ऐसे बैंक या संस्थान से लें जो सरकारी हो या सरकारी मान्यता प्राप्त हो.

2- पत्नी से कराएं शेयर बाजार में निवेश

अगर आप शेयर मार्केट में लॉन्ग टर्म इन्वेस्टमेंट करते हैं तो कैपिटल गेन पर 1 लाख रुपए तक पर टैक्स छूट मिलती होगी. ऐसे में अगर आपकी पत्नी की कमाई बहुत कम है या वह हाउस वाइफ हैं तो उन्हें आप कुछ पैसे दे सकते हैं और उनके नाम पर शेयर बाजार में निवेश कर सकते हैं. इस तरह उन पैसों पर जो रिटर्न मिलेगा, उस पर आपकी पत्नी को 1 लाख रुपए तक के कैपिटल गेन पर टैक्स छूट मिलेगी. वहीं, अगर आप ये पैसे खुद ही निवेश करते और आपको पहले से ही 1 लाख रुपए का कैपिटल गेन होता तो आपका कुल गेन 2 लाख रुपए हो जाता है. ऐसे में आपको 1 लाख रुपए पर टैक्स चुकाना पड़ेगा. तो यहां से भी टैक्स बचा सकते हैं.

3- ज्वाइंट होम लोन से बचेगा टैक्स

शादी के बाद अक्सर कपल अपने गोल्स पूरा करने की सोचते हैं. इनमें से एक होता है अपना घर. ज्वाइंट होम लोन लेकर घर खरीदने की प्लानिंग करें और दोनों के नाम पर रजिस्ट्री करवाएं. ऐसे में आप दोनों ही होम लोन पर मिलने वाले टैक्स बेनेफिट क्लेम कर सकते हैं. इस तरह देखा जाए तो आपको टैक्स में दोगुना फायदा होगा. प्रिंसिपल अमाउंट पर आप दोनों ही 1.5-1.5 लाख रुपए यानी कुल 3 लाख रुपए 80C के तहत क्लेम कर सकते हैं. वहीं, ब्याज पर दोनों को 2-2 लाख रुपए का टैक्स बेनेफिट सेक्शन 24 के तहत ले सकते हैं. देखा जाए तो आप कुल मिलाकर 7 लाख रुपए तक पर टैक्स का फायदा पा सकते हैं. हालांकि, यह इस बात पर भी निर्भर करेगा कि आपका होम लोन कितने रुपए का है.

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