7th Pay Commission latest news today: केंद्रीय कर्मचारियों की सैलरी के लिए इस्तेमाल होने वाला वेतन आयोग का तरीका अब बदलने वाला है. केंद्र सरकार ने साफ कर दिया है कि अगला वेतन आयोग नहीं आएगा. मतलब अगली बार से सैलरी बढ़ाने के लिए नई व्यवस्था लागू की जाएगी. इसकी तैयारी शुरू हो चुकी हैं. ज़ी बिज़नेस डिजिटल को सूत्रों से मिली से एक्सक्लूसिव जानकारी के मुताबिक, साल 2024 में नई व्यवस्था को लागू किया जा सकता है. इसके तहत केंद्रीय कर्मचारियों की सैलरी बढ़ाने के लिए 10 साल का लंबा इंतजार नहीं करना होगा. साथ ही फिटमेंट फैक्टर की व्यवस्था को भी खत्म किया जा सकता है.

हर साल बढ़ेगी केंद्रीय कर्मचारियों की सैलरी!

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वित्त राज्यमंत्री पकंज चौधरी ने हाल ही में लोकसभा में एक सवाल के लिखित जवाब में कहा कि सरकार का अगला वेतन आयोग लागू करने का कोई इरादा नहीं है. केंद्रीय कर्मचारियों की सैलरी बढ़ाने के लिए 10 साल तक इंतजार करने की कोई जरूरत नहीं है. ऐसी व्यवस्था की जानी चाहिए जिससे हर साल उनकी सैलरी में इजाफा होता रहे. अब सवाल ये है कि 8वां वेतन आयोग नहीं आएगा तो वो क्या फॉर्मूला होगा जिससे केंद्रीय कर्मचारियों की सैलरी में बढ़ोतरी की जा सके.

अरुण जेटली के फॉर्मूले का होगा इस्तेमाल!

साल 2016 में दिवंगत वित्त मंत्री अरुण जेटली ने संसद में कहा था 7वें वेतन आयोग की सिफारिशें लागू की जा रही हैं. लेकिन, अब वेतन आयोग से अलग हटकर केंद्रीय कर्मचारियों की सैलरी बढ़ाने पर विचार करना चाहिए. 7वें वेतन आयोग की सिफारिशें लागू करते वक्त जस्टिस माथुर ने भी कहा था कि वेतन आयोग की व्यवस्था को अब पुरानी हो चुकी है. ये जरूरी नहीं है कि सैलरी बढ़ाने के लि इसका ही इस्तेमाल किया जाए. ऐसे में केंद्र सरकार जल्द ही सरकारी कर्मचारियों (Central government employees) की सैलरी बढ़ाने के लिए अरुण जेटली का ही फॉर्मूला इस्तेमाल कर सकती है.

परफॉर्मेंस लिंक्ड इंक्रीमेंट

वित्त राज्यमंत्री पंकज चौधरी (Finance ministry) की तरफ से आए बयान से ये तो साफ है कि अगला वेतन आयोग नहीं आएगा. अब उस फॉर्मूले की चर्चा है जिससे सैलरी बढ़ाने का पैमाना तय किया जा सके. वित्त मंत्रालय इस पर काम कर रहा है कि कर्मचारियों की सैलरी में उनकी परफॉर्मेंस (Performance linked increment) के हिसाब से हर साल इजाफा किया जाए.

'ऑटोमैटिक पे रिविजन सिस्टम' है वो फॉर्मूला

सरकार 68 लाख केंद्रीय कर्मचारी और 52 लाख पेंशनर्स के लिए एक ऐसी व्यवस्था तैयार कर रही है, जब 50 फीसदी DA होने पर सैलरी में ऑटोमैटिक रिविजन हो जाए. इस व्यवस्था को 'ऑटोमैटिक पे रिविजन सिस्टम' के नाम दिया जा सकता है. ये वही फॉर्मूला है, जिसे अरुण जेटली लागू करना चाहते थे. उन्होंने इसका जिक्र भी किया था कि केंद्रीय कर्मचारियों की सैलरी में खुद रिविजन होना चाहिए. विभाग को पता होना चाहिए कि उनके कर्मचारी की परफॉर्मेंस कैसी रही और उन्हें कितना महंगाई भत्ता मिल रहा है. हालांकि, सरकार की तरफ से अंतिम फैसला आने तक इस मामले में कुछ भी साफ कहना जल्दबाजी है.

फिटमेंट फैक्टर की व्यवस्था भी खत्म होगी

7th Pay Commission के तहत केंद्रीय कर्मचारियों की सैलरी रिविजन पर जब नया फॉर्मूला आएगा तो उसमें फिटमेंट फैक्टर की व्यवस्था भी खत्म हो जाएगी. मतलब अब फिटमेंट फैक्टर भी नहीं बढ़ेगा. जो भी व्यवस्था लागू होगी उसके तहत कर्मचारियों के पे-ग्रेड लेवल पर ही इजाफा होगा. सूत्रों की मानें तो अब फिटमेंट फैक्टर को बढ़ाने-घटाने का सवाल नहीं है. जब सैलरी बढ़ाने का नया फॉर्मूला लाया जाएगा तो फिटमेंट फैक्टर की जरूरत नहीं रहेगी.

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