लता मंगेशकर के सम्मान में जल्द जारी होगा स्पेशल डाक टिकट, अश्विनी वैष्णव ने कहा शुरू हो चुकी है डिजाइन की प्रक्रिया
Special stamp on Lata Mangeshkar: सरकार लता मंगेशकर के नाम पर जल्द ही स्पेशल डाक टिकट जारी करेगी. केंद्रीय संचार, सूचना प्रौद्योगिकी और रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने ये जानकारी दी. इसके लिए डिजाइन की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है.
Special stamp on Lata Mangeshkar: वो आवाज अब कभी सुनाई नहीं देगी जिसे सुनकर हम बड़े हुए थे. जिनका प्रशंसक हिंदुस्तान और पड़ोसी देशों में ही नहीं बल्कि पूरी दुनिया में हैं. जी हां हम बात कर रहे हैं स्वर साम्राज्ञी लता मंगेशकर की जिन्होंने रविवार (06 फरवरी, 2022) को अंतिम सांस ली. लता मंगेशकर ने भले ही आज इस दुनिया को अलविदा कह दिया हो लेकिन संगीत में उनके योगदान को कई पीढ़ियां याद रखेंगी. उनके नाम पर जल्द ही डाक टिकट जारी किया जाएगा.
जारी होगा स्पेशल डाक टिकट
सरकार लता मंगेशकर के नाम पर जल्द ही स्पेशल डाक टिकट जारी करेगी. केंद्रीय संचार, सूचना प्रौद्योगिकी और रेलमंत्री अश्विनी वैष्णव ने ये जानकारी दी. न्यूज एजेंसी एनआई से बात करते हुए उन्होंने कहा कि "लता जी हमें छोड़कर चली गईं लेकिन उनकी यादें हमेशा हमारे साथ रहेंगी. हम बहुत जल्द लता जी पर एक विशेष डाक टिकट जारी करेंगे. डिजाइन की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है. यह उन्हें श्रद्धांजलि होगी."
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रविवार को ली अंतिम सांस
मशहूर गायिका लता मंगेशकर का लंबे इलाज के बाद रविवार को अस्पताल में निधन हो गया. उन्हें 8 जनवरी को कोरोना होने की वजह से मुंबई के ब्रीच कैंडी अस्पताल में भर्ती करवाया गया था. 28 दिन वो अस्पताल में ही रहीं. उन्होंने कोरोना और न्यूमोनिया पर विजय भी पाई थी लेकिन शरीर के कई अंगों के खराब हो जाने की वजह से आखिरकार 6 फरवरी को उनका निधन हो गया.
5,000 से ज्यादा गाए गाने
लता मंगेशकर ने एक हजार से ज्यादा हिंदी फिल्मों और 36 क्षेत्रीय फिल्मों में गाना गाया है. कुछ मिलाकर वो 5,000 से अधिक गानों में अपना आवाज दे चुकी हैं. इतने साल में लता दीदी ने मधुबाला से लेकर प्रियंका चोपड़ा तक के लिए अपनी आवाज दी है.
5 साल की उम्र में शुरू किया सफर
लता मंगेशकर का म्यूजिक इंडस्ट्री में योगदान अतुलनीय था. जिसे कभी नहीं भुलाया जा सकता. 78 साल के करियर में लता मंगेशकर ने 25 हजार गाने गाए. उन्हें कई पुरस्कारों से नवाजा गया था. वे तीन बार नेशनल अवॉर्ड विनर रही थीं. इसके अलावा दादा साहेब फाल्के अवॉर्ड और भारत रत्न से भी उन्हें सम्मानित किया गया. लता मंगेशकर ने 5 साल की उम्र में ही काम करना शुरू कर दिया था. जिस उम्र में बच्चे खेलते पढ़ते हैं, तब लता मंगेशकर ने घर की जिम्मेदारी संभाली. अपने भाई-बहनों के बेहतर भविष्य के लिए उन्होंने शादी भी नहीं की.