केंद्र सरकार आम लोगों तक बिजली पहुंचाने पर खास जोर दे रही है और इस सिलसिले में अब सरकार ने घोषणा की है कि घर घर तक बिजली पहुंचाने के लिए अच्छा काम करने वाले कर्मचारियों को 50 लाख रुपये का इनाम दिया जाएगा, जबकि अच्छा प्रदर्शन करने वाले राज्यों के लिए 100 करोड़ रुपये का इनाम देने की घोषणा की गई है.

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बिजली मंत्रालय ने सोमवार को कहा कि जो राज्य सौभाग्य योजना के तहत घरेलू विद्युतीकरण को पूरा करेगा, उसे 100 करोड़ रुपये का इनाम दिया जाएगा. राज्य बिजली बोर्ड के साथ ही उसके कर्मचारियों को भी 50 लाख रुपये का इनाम दिया जाएगा. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बीते सितंबर को 16,320 करोड़ रुपये वाली सौभाग्य योजना की शुरुआत की थी. इस योजना के तहत प्रत्येक घर तक बिजली पहुंचाने का लक्ष्य तय किया गया है और इसे पूरा करने के लिए प्रोत्साहन के तौर पर सरकार ने इस इनाम की घोषणा की है.

बिजली मंत्री आरके सिंह ने राज्यों के प्रतिनिधियों के साथ एक समीक्षा बैठक के बाद कहा, 'सौभाग्य योजना के तहत समय से पहले विद्युतीकरण का काम पूरा करने वाले राज्यों को हमने पुरस्कार देने का निर्णय किया है.' उन्होंने बताया कि इस योजना के तहत राज्यों की तीन श्रेणियां हैं, जिनमें पूर्वोत्तर और अन्य पर्वतीय राज्यों के लिए एक विशेष श्रेणी शामिल है. 

इसके अलावा राज्यों को मोटेतौर पर दो श्रेणियों में बांटा गया है- पहली श्रेणी में ऐसे राज्य हैं, जहां जिन घरों तक बिजली  नहीं पहुंची है, उनकी संख्या पांच लाख से कम है. दूसरे समूह में वे राज्य हैं जहां बिजली पहुंचाने वाले घरों की संख्या पांच लाख से अधिक है. सिंह ने कहा कि राज्य बिजली बोर्ड के कर्मचारियों को दिए जाने वाले 50 लाख के पुरस्कार में से 20 लाख रुपये उस डिवीजन के कर्मचारियों में बांटे जा सकते हैं, जिन्होंने बेतरीन काम किया है.  उन्होंने बताया कि कई राज्यों ने पहले ही 99 प्रतिशत विद्युतीकरण का लक्ष्य हासिल कर लिया है और इसलिए उन राज्यों को इस पुरस्कार योजना से अलग रखा जाएगा. ये राज्य हैं गुजरात, पंजाब, गोवा आंध्र प्रदेश, हरियाणा, केरल, तमिलनाडु और हिमाचल प्रदेश.