जनजातीय गौरव दिवस: राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू देंगी भगवान बिरसा मुंडा को उनके पैतृक गांव में श्रद्धांजलि
15 नवंबर को बिरसा मुंडा के जन्मदिन के मौके पर पूरे देश में मनाया जायेगा जनजातीय गौरव दिवस. आदिवासी इतिहास का जश्न मनाने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू पहुंचेंगी उलिहातू.
15 नवंबर को भारत में आदिवासी नेता बिरसा मुंडा की जयंती मनाई जाएगी. पिछले साल बिरसा मुंडा की जयंती मनाने के लिए और आदिवासी स्वतंत्रता सेनानियों के योगदान को याद करने के लिए 15 नवंबर को केंद्र ने ‘जनजातीय गौरव दिवस’ घोषित किया था. इसी उपलक्ष के लिए केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा ने शनिवार को बताया की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू 15 नवंबर यानी दूसरे जनजातीय गौरव दिवस पर झारखंड के खूंटी जिले स्थित भगवान बिरसा मुंडा के पैतृक गांव उलिहातू में एक कार्यक्रम में भाग लेंगी.
ऐसा रहेगा राष्ट्रपति का कार्यक्रम
खूंटी के डीसी शशि रंजन ने राष्ट्रपति के आने का कार्यक्रम बताया. उन्होंने कहा कि राष्ट्रपति 15 नवंबर को सुबह 08:20 बजे रांची एयरपोर्ट पहुंचेंगी. वहां से 10 मिनट बाद वे चॉपर के ज़रिये भगवान बिरसा मुंडा के जन्म स्थान उलिहातू रवाना होंगी. वे 08:50 पर उलिहातू गांव पहुंचेंगी और भगवान बिरसा मुंडा को श्रद्धांजलि अर्पित करेंगी. साथ ही वहां पूजा पाठ भी होगी. इन सब के बाद वे वहां मौजूद भगवान बिरसा के वंशजों और ग्रामीणों से बातचीत करेंगी. राष्ट्रपति वहां आधे घंटे रुकेंगी. 09:40 पर द्रौपदी मुर्मू रांची एयरपोर्ट के लिए रवाना हो जाएंगी और 10:15 बजे राष्ट्रपति रांची एयरपोर्ट से मध्य प्रदेश के जबलपुर की यात्रा शुरू करेंगी. राष्ट्रपति के आगमन को लेकर कई बड़े अधिकारी खूंटी और उलिहातू पहुचें. सुरक्षा व्यवस्था पर खास नज़र राखी जा रहीं है. रविवार को खूंटी और उलिहातू में चॉपर से निगरानी की गई.
राष्ट्रपति के स्वागत में सजाया गया उलिहातू
बिरसा ओड़ा में जनजातीय गौरव दिवस पर राष्ट्रपति के आने की तैयारिया ज़ोरो से चल रही है. इसके साथ साथ बिरसा कॉम्प्लेक्स के पार्क को भी सजाने का काम जारी है. भगवान बिरसा की जन्मस्थली के परिसर की सीढ़ियों और मुख्य द्वार को एकदम नए तरीके से सजाया गया है. बिरसा के गांव से 2 किलोमीटर दूर कंटड़ापीड़ी मैदान में हेलिपैड बनने का काम भी पूरा हो गया है. बताया जा रहा है की पूरे मैदान के समतलीकरण के बाद उसको गोबर से लीपा गया है. उलिहातू गांव में काम करने वाले कामगारों का कहना है कि प्रशासन की ओर से शनिवार तक काम को पूरा कर देने का निर्देश था. लेकिन, उन्होंने दो दिन और मांगते हुए 14 नवंबर तक सभी कार्यों को समाप्त करने की अनुमति मांगी है. पुरे गांव में साफ़ सफाई के साथ साथ कई रंगो की लाइट लगाई गयी है. दीवारों पर सोहराई पेंटिंग बनाई गयी है जिसमें भगवान बिरसा की जीवनी दिखाई गई है.