सरकार ने कहा है कि घरेलू रसोई गैस सिलेंडर (LPG) पर दी जाने वाली सब्सिडी को सीधे बैंक खाते में डाले जाने की उसकी मौजूदा नीति में बदलाव का कोई प्रस्ताव नहीं है. पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस मंत्रालय ने कहा कि एलपीजी (LPG) सब्सिडी की प्रत्यक्ष लाभ अंतरण (DBT) योजना में बदलाव का कोई प्रस्ताव मंत्रालय के समक्ष विचाराधीन नहीं है. 

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डीबीटी योजना में कोई बदलाव नहीं

मंत्रालय ने कहा कि समाचार पत्रों में डीबीटी में बदलाव के बारे में छपीं रिपोर्टें तथ्यों पर आधारित नहीं हैं. हाल में कुछ समाचार पत्रों में ऐसी रिपोर्ट छपी है कि सरकार एलपीजी सब्सिडी को सीधे उपभोक्ता के बैंक खाते में डालने के बजाय पुराना तरीका अपनाते हुए सीधे सिलेंडर की ही सस्ती दर पर आपूर्ति शुरू करेगी. सरकार घरेलू उपभोक्ता को एक साल में 12 सिलेंडर पर सब्सिडी उपलब्ध कराती है. इससे अधिक खपत होने पर ग्राहकों को बाजार दर पर सिलेंडर खरीदना होता है.

साल में 12 सिलेंडर पर सब्सिडी

पेट्रोलियम मंत्रालय की एलपीजी उपभोक्ताओं के लिये शुरू की गई ‘पहल’ योजना के तहत साल में 12 सिलेंडर के लिये सब्सिडी उपलब्ध कराई जाती है. उपभोक्ता को सिलेंडर बाजार मूल्य पर खरीदना होता है जबकि सब्सिडी राशि उसके बैंक खाते में पहुंचा दी जाती है.