आसमान में कौंधती बिजली किसानों के दिल की धड़कन बढ़ा दे रही है. शनिवार को उत्तर भारत के कई इलाकों में तेज हवाओं के साथ हुई जोरदार बारिश और कहीं-कहीं ओला पड़ने से खेतों में खड़ी गेहूं, मक्का की फसल को काफी नुकसान हुआ है. 

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लॉकडाउन (Lockdwon) के चलते किसानों को गेहूं की कटाई (Wheat Cutting) में काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. हालांकि सरकार ने खेती के कामों को लॉकडाउन से छूट दी हुई है. फिर भी मजदूरों की कमी के चलते रबी फसलों की कटाई (Crop Cutting) में देरी हो रही है.

रबी सीजन (Rabi Season) की प्रमुख फसल गेहूं (Wheat Crop) की कटाई 67 फीसदी पूरी हो चुकी है और इस महीने के आखिर तक पूरे देश में फसल की कटाई पूरी हो जाएगी. 

जहां-जहां फसलों की कटाई हो चुकी है, वहां किसान खेतों में  गरमा यानी जायद सीजन (Zaid Season) की फसलों की बुआई में जुट गए हैं. जायद फसलों (Zaid Crops) का रकबा देशभर में 52.78 लाख हेक्टेयर हो चुका है जोकि पिछले साल के की समान अवधि के रकबे से 14.14 लाख हेक्टेयर यानी 36.59 फीसदी अधिक है. पिछले साल इस अवधि तक देश में जायद फसलों का रकबा महज 38.64 लाख हेक्टेयर था.

इस साल रबी सीजन में गेहूं का कुल रकबा देश में तकरीबन 310 लाख हेक्टेयर है. तकरीबन 63-67 फीसदी फसल कट चुकी है और बाकी की कटाई भी जोरों पर है. 

मध्य प्रदेश में गेहूं की करीब 90-95 फीसदी फसल की कटाई हो चुकी है और राजस्थान में तकरीबन 80-95 फीसदी गेहूं की कटाई किसान कर चुके हैं. वहीं, देश के सबसे बड़े गेहूं उत्पादक राज्य उत्तर प्रदेश में 60-65 फीसदी गेहूं की कटाई हुई है जबकि हरियाणा में 30-35 फीसदी और पंजाब में अभी महज 10-15 फीसदी ही कटाई हुई है.

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मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश, राजस्थान, हरियाणा और पंजाब समेत कई राज्यों में गेहूं की सरकारी खरीद भी शुरू हो चुकी है.

कृषि मंत्रालय के अनुसार, पंजाब में गेहूं की कटाई व तैयारी के लिए 18000 कंबाइन मशीन का उपयोग किया जा रहा है जबकि हरियाणा में 5000 मशीनें लगाई गई हैं.