Earthquake: अंडमान-निकोबार में भूकंप के झटके महसूस किए गए. रिक्टर स्केल पर इसकी तीव्रता 4.9 मापी गई है. नेशनल सेंटर फॉर सीस्मोलॉजी के मुताबिक, भूकंप तड़के करीब 3:40 बजे आया.  NCS के अनुसार, भूकंप 77 किलोमीटर गहराई में था.

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21 मार्च को दिल्ली में आया था भूकंप 21 मार्च की रात दिल्‍ली-एनसीआर समेत उत्तर भारत के तमाम इलाकों भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए. रात करीब 10 बजकर 20 मिनट पर अचानक धरती हिलने लगी. लोग दहशत में आ गए और घरों से बाहर निकल गए. रिक्‍टर स्‍केल पर भूकंप की तीव्रता 6.6 मापी गई. अफगानिस्तान का हिंदू कुश क्षेत्र भूकंप का केंद्र था. हालांकि भारत में भूकंप के चलते किसी तरह के बड़े नुकसान की खबर नहीं है.

भूकंप क्यों आता है और कैसे आता है? धरती के नीचे मौजूद ये प्लेटें बेहद धीमी रफ्तार से घूमती रहती हैं. हर साल ये प्लेटें अपनी जगह से 4-5 मिमी खिसक जाती हैं. इस दौरान कोई प्लेट किसी से दूर हो जाती है तो कोई किसी के नीचे से खिसक जाती है. इसी दौरान प्लेटों के टकराने से भूकंप आता है. पांच जोन में बांटा गया है भूकंप क्षेत्र पूरे देश को भारतीय मानक ब्यूरो (BIS) ने पांच भूकंप जोन में बांटा है. वहीं देश का 59 प्रतिशत हिस्सा भूकंप रिस्क जोन में है. भारत में पांचवें जोन को सबसे ज्यादा खतरनाक और सक्रिय माना जाता है.सबसे खतरनाक जोन में जम्मू और कश्मीर का हिस्सा (कश्मीर घाटी), हिमाचल प्रदेश का पश्चिमी हिस्सा, उत्तराखंड का पूर्वी हिस्सा, गुजरात में कच्छ का रण, उत्तरी बिहार का हिस्सा, भारत के सभी पूर्वोत्तर राज्य, अंडमान और निकोबार द्वीप समूह आता है.