आज पूरी दुनिया में स्टार्टअप की बात हो रही है. स्टार्टअप ने लाइफस्टाइल से लेकर बिजनेस तक के तरीकों को बदल दिया है. एक यूनीक आइडिया की बदौलत आप अपनी एक नई दुनिया रच सकते हैं या इस दुनिया में अपनी एक नई पहचान कायम कर सकते हैं. इस यूनीक आइडिया की बदौलत देशभर में लाखों युवा एक नया मुकाम हासिल कर रहे हैं. कुछ ऐसे ही यूनीक स्टार्टअप की बदौलत अलग पहचान कायम करने वाले उद्यमियों को 'ज़ी बिजनेस डेयर टू ड्रीम अवॉर्ड' ने नवाजा गया. 'डेयर टू ड्रीम अवॉर्ड' के लिए देश के कोने-कोने से 105 उद्यमियों को चयन किया गया और सोमवार की शाम नई दिल्ली में इन प्रतिभाओं को सम्मानित किया गया. केंद्रीय सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्योग मंत्री गिरिराज सिंह ने न्यू इंडिया के इन नए लीडरों को सम्मानित किया. 

COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

भारत के शीर्ष हिंदी व्यापार चैनल, ज़ी बिजनेस ने SAP India के साथ मिलकर न्यू इंडिया के उभरते युवा उद्यमियों के सम्मान में 'डेयर टू ड्रीम अवॉर्ड' का आयोजन किया. 

कार्यक्रम को संबोधित करते हुए केंद्रीय सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्योग मंत्री गिरिराज सिंह ने गांव-देहात या छोटे शहरों में स्टार्टअप के जरिए कारोबार की दुनिया में कदम रखने को गांव टू ग्लोबल नाम दिया. उन्होंने कहा कि आज आईटी का जमाना है, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का जमाना है. 

उन्होंने कहा कि MSME से जुड़े लोगों को आगे की प्लानिंग करनी चाहिए. सुक्ष्म और लघु उद्योग के लोगों के लिए एडवांस प्लानिंग करके आगे बढ़ना चाहिए. अभी हम MSME के मामले में रोजगार कम पैदा हो रहे हैं, क्योंकि यह देश का सबसे बड़ा रोजगार पैदा करने वाला, एक्पोर्ट करने वाला तथा सबसे ज्यादा मैन्युफैक्चरिंग करने वाला एमएसएमई ही सेक्टर है. 

गिरिराज सिंह ने कहा कि एमएसएमई सेक्टर को गांवों में जाकर अपने उद्योग-धंधे स्थापित करने चाहिए, ताकि गांव के नौजवानों को वहीं रोजगार मिल सके. इससे महानगरों पर बढ़ता आबादी का बोझ भी कम होगा. उन्होंने कहा कि जिस दिन 'मेरे अनुसार टेक्नोलॉजी' की जरूरत पूरी हो जाएगी उस दिन भारत को आगे बढ़ने से कोई नहीं रोक सकता. उन्होंने कहा कि युवा उद्यमियों को खुद को इतना मजबूत करना होगा कि सरकार में उनकी सहभागिता बढ़े और वे अन्य लोगों के लिए एक उदाहरण बनें.

वित्त राज्य मंत्री शिव प्रताप शुक्ला ने इस मौके पर कहा कि सभी सरकारें इमानदार और मेहनती आंत्रप्रन्योर की मदद के लिए हमेशा तैयार रहती हैं. केंद्र सरकार ऐसे उद्यमियों की मद्द के लिए हमेशा आगे आई है. उन्होंने कहा कि आंत्रप्रन्योर आज के युवाओं के रोल मॉडल हैं. 

एमएसएमई सचिव अरुण कुमार ने इस अवसर पर कहा कि आज का युवा नौकरी देने वालों को अपना प्ररेणा स्त्रोत मानता है. उसे नौकरी लेने में नहीं बल्कि नौकरी देने में दिलचस्पी है.