RBI MPC Meeting: महंगाई की चिंता के बीच केंद्रीय रिजर्व बैंक हर दो महीने पर होने वाली मौद्रिक नीति समीक्षा की बैठक शुरू कर रहा है, जो आज बुधवार से तीन दिनों तक चलेगी, शुक्रवार को गवर्नर शक्तिकांत दास बेंचमार्क पॉलिसी की घोषणा करेंगे. इस बार भी उम्मीद जताई जा रही है कि मौद्रिक समिति नीतिगत ब्याज दरों को स्थिर रखेगी. रेपो रेट 6.5% पर यथावत रह सकती हैं. रूस-यूक्रेन युद्ध के मद्देनजर रिजर्व बैंक ने मई, 2022 में नीतिगत दर बढ़ाना शुरू किया था और इस साल फरवरी में यह 6.5 प्रतिशत पर पहुंच गई थी. इसके बाद से लगातार पिछली तीन द्विमासिक मौद्रिक नीति समीक्षा बैठकों में नीतिगत दर को स्थिर रखा गया.

महंगाई पर फोकस

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महंगाई आरबीआई और सरकार के लिए अभी भी चिंता का विषय बनी हुई है. महंगाई पर काबू के लिए सरकार और एजेंसियां एकजुट होकर काम कर रही है, सरकार जल्द ही इसे लेकर एक्शन प्लान जारी कर सकती है. MPC की बैठक में Consumer Affairs के डाटा पर भी चर्चा हो सकती है. रिजर्व बैंक की कमेंट्री और स्पेसिफिक इनपुट को आधार बनाकर सरकार एक्शन जारी करेगी. 

क्या है अर्थशास्त्रियों का अनुमान?

बैंक ऑफ बड़ौदा के मुख्य अर्थशास्त्री मदन सबनवीस ने कहा, ‘‘इस बार की मौद्रिक नीति में मौजूदा दर संरचना के साथ ही नीतिगत रुख के जारी रहने की संभावना है. इसलिए रेपो दर 6.5 प्रतिशत पर बरकरार रखी जाएगी.’’ उन्होंने कहा कि खुदरा मुद्रास्फीति अब भी 6.8 प्रतिशत के उच्चस्तर पर है और सितंबर और अक्टूबर में इसमें कमी आने की उम्मीद है, लेकिन खरीफ उत्पादन को लेकर कुछ आशंकाएं हैं, जिससे कीमतें बढ़ सकती हैं..

इक्रा लिमिटेड के वरिष्ठ उपाध्यक्ष और समूह प्रमुख (वित्तीय क्षेत्र रेटिंग) कार्तिक श्रीनिवासन ने भी उम्मीद जताई कि एमपीसी नीतिगत दर को स्थिर रखेगी. उन्होंने कहा, ‘‘सितंबर के दूसरे पखवाड़े में नकदी में जो सख्ती देखी गई, वह जारी रहने की संभावना नहीं है. खासकर पिछली नीति समीक्षा में लागू की गई वृद्धिशील सीआरआर से नकदी जारी होगी.’’ रियल एस्टेट कारोबारियों के निकाय नारेडको के अध्यक्ष राजन बंदेलकर ने कहा कि अक्टूबर एमपीसी बैठक के दौरान आरबीआई का उदार रुख जारी रहने की उम्मीद है.

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