पीएम (PM) नरेंद्र मोदी 2019 के लोकसभा चुनाव से पहले इंडस्‍ट्री को बहुत बड़ा तोहफा दे सकते हैं. एक मीडिया रिपोर्ट में कहा गया है कि प्रधानमंत्री बहुप्रतिक्षित औद्योगिक नीति की जल्‍द घोषणा कर सकते हैं. इससे भारतीय अर्थव्‍यवस्‍था सरपट दौड़ने लगेगी. औद्योगिक नीति व प्रोत्‍साहन प्रमुख रमेश अभिषेक के मुताबिक इस योजना के शुरू होने पर कंपनी को जमीन या उपकरण खरीदने नहीं पड़ेंगे. वह उन्‍हें लंबी अवधि की लीज पर ले पाएगी. इससे न सिर्फ लागत में कमी आएगी बल्कि नई फैक्‍ट्री की स्‍थापना का समय भी घटेगा. इससे, पहले से काम कर रही फैक्‍ट्री को अपने संसाधन साझा करने की छूट मिलेगी.

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1 साल से चल रहा इस योजना पर काम

बिजनेस स्‍टैंडर्ड की खबर के मुताबिक इस योजना पर 1 साल से काम चल रहा है. नई औद्योगिक नीति आने से तकनीक अपग्रेड होगी, लागत खर्च घटेगा, लॉजीस्टिक्‍स में सुधार होगा और श्रम कौशल बढ़ेगा. इस योजना से संभावना है कि देश में 100 अरब डॉलर का निवेश आएगा, जिससे अर्थव्‍यवस्‍था को बढ़ावा मिलेगा. 

 

ईज ऑफ डुइंग बिजनेस में मिली तरक्‍की

4 साल में भारत ईज ऑफ डुइंग बिजनेस रैंकिंग में 142 से 77वें स्थान पर पहुंच गया है. भारत के टॉप 50 रैंक में आने में कुछ ही कदमों की दूरी है. इस दूरी को खत्म करने के लिए विकास, इंफ्रास्ट्रक्चर में सुधार के लिए निवेश में बढ़ोतरी जरूरी है. वर्ष 2014 में नरेन्द्र मोदी के प्रधानमंत्री बनने के समय कारोबार सुगमता की सूची में भारत 142वें स्थान पर था.