पाकिस्तान ने अफगानिस्तान के रास्ते भारत की ओर बढ़ाया दोस्ती का हाथ, होगा सबको लाभ
भारत और पाकिस्तान के बीच रिश्तों की तल्खी का असर अक्सर व्यापार पर पड़ता है, लेकिन अब पाकिस्तान ने एक ऐसा प्रस्ताव दिया है, जिससे कई पक्षों को फायदा होगा.
भारत और पाकिस्तान के बीच रिश्तों की तल्खी का असर अक्सर व्यापार पर पड़ता है, लेकिन अब पाकिस्तान ने एक ऐसा प्रस्ताव दिया है, जिससे न सिर्फ व्यापार को फायदा होगा, बल्कि इस प्रस्ताव के लागू होने पर दोनों देशों के बीच रिश्तों पर जमी बरफ भी पिघलने लगेगी. दरअसल पाकिस्तान ने कुछ महीने पहले अफगानिस्तान को प्रस्ताव दिया कि अगर अफगानिस्तान और भारत पाकिस्तान के रास्ते व्यापार करना चाहते हैं, तो पाकिस्तान इसके लिए अपने सड़क मार्गों का इस्तेमाल करने की इजाजत देने के लिए तैयार है. अफगानिस्तान में अमेरिका के राजदूत जॉन बास ने यह जानकारी दी.
यह बात इसलिए महत्वपूर्ण है क्योंकि वर्षों तक भारत से अफगानिस्तान को सामान भेजने के लिए पाकिस्तान ने अपनी जमीन का इस्तेमाल करने की इजाजत नहीं दी. जॉन बास ने समाचार पत्र इकनॉमिक टाइम्स को बताया कि पाकिस्तान सरकार ने इसके लिए अफगानिस्तान सरकार से संपर्क किया है. उन्होंने कहा, 'अफगानिस्तान से भारत को निर्यात (एयर कार्गो के जरिए) बढ़ा है... इस बीच एक सकारात्मक कदम के तहत दो महीने पहले पहली बार पाकिस्तान की सरकार ने अपने अफगानिस्तानी समकक्षों से कहा कि वो पाकिस्तान के रास्ते भारत और अफगानिस्तान के बीच व्यापार करने की अनुमति देने के लिए और इसके लिए पैरामीटर तय करने हेतु बातचीत करने को तैयार है.' उन्होंने कहा कि अफगानिस्तान में राजनीतिक स्थिरता पाकिस्तान के हित में है.
उन्होंने यह माना कि जब पिछले सप्ताह अमेरिकी विदेश मंत्री माइक पोम्पिओ और अमेरिकी रक्षा मंत्री जिम मैटिस भारत आए थे, तो भारत सरकार ने ईरान पर अमेरिकी प्रतिबंधों का मुद्दा उठाया और कहा कि ये किस तरह चाबहार बंदरगाह को प्रभावित करेगा. उन्होंने कहा कि भारत सरकार ने दोनों अमेरिकी अधिकारियों के साथ बैठक में ये बताया कि चाबहार का महत्व क्या है और अफगानिस्तान को दक्षिण एशिया से जोड़ने के लिए ये कितना जरूरी है. उन्होंने कहा कि इस बारे में हम विचार कर रहे हैं, जो सबसे बेहतर विकल्प संभव होगा, वो किया जाएगा.